सचिव बेसिक शिक्षा परिषद ने जारी किया आदेश
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe
लखनऊ। प्राइमरी स्कूलों के शिक्षकों को अब तीन साल में पदोन्नति मिल
जाएगी। बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव संजय सिन्हा ने शनिवार को इसके औपचारिक
आदेश जारी कर दिए। कुछ दिनों पहले ही पांच वर्ष के बजाय चार वर्ष में
पदोन्नति का निर्णय लिया गया था। लेकिन अब इसे घटाकर तीन वर्ष कर दिया गया
है। ऐसा माना जा रहा है कि सरकार ने यह फैसला शिक्षा मित्रों के समायोजन के
लिए किया गया है।
सचिव बेसिक शिक्षा परिषद की ओर से जारी इस आदेश में कहा गया है कि जिन शिक्षकों का शिक्षण अनुभव तीन वर्ष हो चुका है और उस जिले में रिक्तियां उपलब्ध हैं तो ऐसे शिक्षकों को दो वर्ष की छूट प्रदान करते हुए पदोन्नति की कार्यवाही की जाए। दरअसल, प्राथमिक विद्यालयों के सहायक अध्यापकों की पदोन्नति पांच वर्ष के बाद ही होती थी। लेकिन बीती 26 मार्च को ही सचिव ने एक वर्ष की छूट देने का आदेश जारी किया था। एक वर्ष की छूट देने पर ज्यादा शिक्षक इस दायरे में नहीं आ रहे थे। इसलिए अनुभव में छूट दो वर्ष की कर दी गई है। इससे जिलों में सहायक अध्यापकों के और अधिक पद खाली हो जाएंगे। इसमें शिक्षा मित्रों का समायोजन किया जाएगा। चूंकि दूसरे चरण में 91104 शिक्षा मित्रों का समायोजन होना है। इसमें सहायक अध्यापद पद की तुलना में 22 हजार शिक्षा मित्र अधिक हैं। इसलिए सरकार पदोन्नति कर सहायक अध्यापक के पद खाली करवा रही है। सचिव ने यह भी आदेश दिए हैं कि पदोन्नति की कार्यवाही पूरी तरह से पारदर्शी होनी चाहिए। जिनके विरुद्ध किसी भी प्रकार की अनुशासनात्मक कार्रवाई चल रही हो, उन्हें किसी भी कीमत पर प्रमोशन न दिया जाए। साथ ही उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद अध्यापक सेवा नियमावली 1981 के प्रावधानों के अनुसार चयन समिति के जरिए पदोन्नति करने को कहा है।
•शिक्षा मित्रों के समायोजन के लिए सरकार का फैसला
•कुछ दिनों पहले ही चार वर्ष में पदोन्नति का लिया गया था निर्णय
सचिव बेसिक शिक्षा परिषद की ओर से जारी इस आदेश में कहा गया है कि जिन शिक्षकों का शिक्षण अनुभव तीन वर्ष हो चुका है और उस जिले में रिक्तियां उपलब्ध हैं तो ऐसे शिक्षकों को दो वर्ष की छूट प्रदान करते हुए पदोन्नति की कार्यवाही की जाए। दरअसल, प्राथमिक विद्यालयों के सहायक अध्यापकों की पदोन्नति पांच वर्ष के बाद ही होती थी। लेकिन बीती 26 मार्च को ही सचिव ने एक वर्ष की छूट देने का आदेश जारी किया था। एक वर्ष की छूट देने पर ज्यादा शिक्षक इस दायरे में नहीं आ रहे थे। इसलिए अनुभव में छूट दो वर्ष की कर दी गई है। इससे जिलों में सहायक अध्यापकों के और अधिक पद खाली हो जाएंगे। इसमें शिक्षा मित्रों का समायोजन किया जाएगा। चूंकि दूसरे चरण में 91104 शिक्षा मित्रों का समायोजन होना है। इसमें सहायक अध्यापद पद की तुलना में 22 हजार शिक्षा मित्र अधिक हैं। इसलिए सरकार पदोन्नति कर सहायक अध्यापक के पद खाली करवा रही है। सचिव ने यह भी आदेश दिए हैं कि पदोन्नति की कार्यवाही पूरी तरह से पारदर्शी होनी चाहिए। जिनके विरुद्ध किसी भी प्रकार की अनुशासनात्मक कार्रवाई चल रही हो, उन्हें किसी भी कीमत पर प्रमोशन न दिया जाए। साथ ही उत्तर प्रदेश बेसिक शिक्षा परिषद अध्यापक सेवा नियमावली 1981 के प्रावधानों के अनुसार चयन समिति के जरिए पदोन्नति करने को कहा है।
•शिक्षा मित्रों के समायोजन के लिए सरकार का फैसला
•कुछ दिनों पहले ही चार वर्ष में पदोन्नति का लिया गया था निर्णय
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe