255 पीएचडी उपाधि धारकों ने चतुर्थ श्रेणी कर्मचारी बनने को किया आवेदन
लखनऊ। सपना प्रोफेसर बनने का था लेकिन बेरोजगारी ने इतना तोड़ दिया कि अब चपरासी बनकर दफ्तर में पानी पिलाने को भी तैयार हैं। जी हां, यह सच है। सचिवालय में चपरासी की नौकरी के लिए 255 पीएचडी उपाधि धारकों ने आवेदन किया है।
ग्रेजुएट, पोस्ट ग्रेजुएट आवेदकों की तो फेहरिस्त बहुत लंबी है।
देश के सबसे बड़े सूबे में बेरोजगारों की बड़ी फौज तैयार हो गई है। निजी और सरकारी क्षेत्र में रोजगार के अवसरों की कमी के चलते बेरोजगारों की तादाद साल-दर-साल बढ़ रही है। जहां नौकरी की उम्मीद की किरण फूटती दिखती है, वे सभी टूट पड़ते हैं। कुछ दिन पहले हुई लेखपाल भर्ती परीक्षा के लिए 27 लाख आवेदन आए थे। सचिवालय प्रशासन ने चतुर्थ श्रेणी के 368 पदों पर भर्ती के लिए पिछले महीने आवेदन मांगे थे। आवेदन करने की अंतिम तिथि 13 सितंबर थी। इन पदों के लिए रिकॉर्ड संख्या में आवेदन आए हैं। आवेदकों की संख्या 23 लाख को पार कर गई है। बेरोजगारी का आलम यह है कि पोस्ट ग्रेजुएशन के बाद पीएचडी करके डिग्री कालेजों में प्रवक्ता, रीडर और प्रोफेसर बनने का ख्वाब संजोने वाले युवा अब दफ्तरों में चाय, पानी पिलाने, फाइलों को इधर से उधर ले जाने के लिए तैयार हैं।
बेरोजगारी की भयावह तस्वीर का अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि चपरासी के हर एक पद के लिए औसतन 6250 युवा दावेदार हैं। आवेदकों में 255 अभ्यर्थी डाक्ट्रेट उपाधि धारक (पीएचडी) हैं। डेढ़ लाख ग्रेजुएट ने चपरासी बनने के लिए आवेदन किया है। इनमें बीए, बीएससी, बीकॉम के साथ ही बीबीए, बीसीए, बीटेक शामिल हैं। 25 हजार आवेदक पोस्ट ग्रेजुएट हैं। एमए, एमकॉम, एमएससी के साथ ही एमबीए जैसी उपाधियां प्राप्त युवा भी चपरासी बनने की कतार में हैं।
यह स्थिति तब है जब सचिवालय प्रशासन विभाग ने चपरासी के लिए न्यूनतम पांचवी पास योग्यता तय की थी। आवेदकों में सर्वाधिक संख्या दसवीं पास हैं। हाईस्कूल या उसके समकक्ष आवेदक 11.21 लाख हैं। 12वीं पास आवेदक 7.50 लाख हैं। 1415 अभ्यर्थी अन्य श्रेणियों के हैं जबकि 2681 की श्रेणियों का खुलासा नहीं है।
कमेटी तय करेगी कैसे करें साक्षात्कार
चतुर्थ श्रेणी के 369 पदों पर 23 लाख से ज्यादा आवेदन आने पर बड़ा सवाल यह खड़ा हो गया है कि भर्ती कैसे की जाए। आवेदकों को कैसे शाॅर्ट लिस्ट किया जाए, साक्षात्कार कैसे लिए जाएं? यदि सभी आवेदकों के साक्षात्कार लिए गए तो महीनों, सालों में भी प्रक्रिया पूरी नहीं हो पाएगी। यदि हर रोज 2000 आवेदकों का साक्षात्कार लिया जाए तो 23 लाख के साक्षात्कार लेने में लगभग साढ़े तीन साल लग जाएंगे। ऐसे में एक संभावना यह भी है कि ज्यादा योग्यता वाले अभ्यर्थियों को भर्ती प्रक्रिया से अलग कर दिया जाएगा। दूसरी संभावना लिखित परीक्षा की सिफारिश करना भी हो सकती है। बदले हालात में भर्ती व साक्षात्कार प्रक्रिया तय करने के लिए सचिवालय प्रशासन विभाग ने तीन विशेष सचिवों की कमेटी बनाई है। इसी की रिपोर्ट के बाद भर्ती प्रक्रिया का रोडमैप तय होगा।
सचिवालय में चपरासी पद के लिए 23 लाख आवेदन
एक पद पर 6250 दावेदार 1.50 लाख आवेदक ग्रेजुएट 25 हजार पोस्ट ग्रेजुएट
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
लखनऊ। सपना प्रोफेसर बनने का था लेकिन बेरोजगारी ने इतना तोड़ दिया कि अब चपरासी बनकर दफ्तर में पानी पिलाने को भी तैयार हैं। जी हां, यह सच है। सचिवालय में चपरासी की नौकरी के लिए 255 पीएचडी उपाधि धारकों ने आवेदन किया है।
ग्रेजुएट, पोस्ट ग्रेजुएट आवेदकों की तो फेहरिस्त बहुत लंबी है।
देश के सबसे बड़े सूबे में बेरोजगारों की बड़ी फौज तैयार हो गई है। निजी और सरकारी क्षेत्र में रोजगार के अवसरों की कमी के चलते बेरोजगारों की तादाद साल-दर-साल बढ़ रही है। जहां नौकरी की उम्मीद की किरण फूटती दिखती है, वे सभी टूट पड़ते हैं। कुछ दिन पहले हुई लेखपाल भर्ती परीक्षा के लिए 27 लाख आवेदन आए थे। सचिवालय प्रशासन ने चतुर्थ श्रेणी के 368 पदों पर भर्ती के लिए पिछले महीने आवेदन मांगे थे। आवेदन करने की अंतिम तिथि 13 सितंबर थी। इन पदों के लिए रिकॉर्ड संख्या में आवेदन आए हैं। आवेदकों की संख्या 23 लाख को पार कर गई है। बेरोजगारी का आलम यह है कि पोस्ट ग्रेजुएशन के बाद पीएचडी करके डिग्री कालेजों में प्रवक्ता, रीडर और प्रोफेसर बनने का ख्वाब संजोने वाले युवा अब दफ्तरों में चाय, पानी पिलाने, फाइलों को इधर से उधर ले जाने के लिए तैयार हैं।
बेरोजगारी की भयावह तस्वीर का अनुमान इसी से लगाया जा सकता है कि चपरासी के हर एक पद के लिए औसतन 6250 युवा दावेदार हैं। आवेदकों में 255 अभ्यर्थी डाक्ट्रेट उपाधि धारक (पीएचडी) हैं। डेढ़ लाख ग्रेजुएट ने चपरासी बनने के लिए आवेदन किया है। इनमें बीए, बीएससी, बीकॉम के साथ ही बीबीए, बीसीए, बीटेक शामिल हैं। 25 हजार आवेदक पोस्ट ग्रेजुएट हैं। एमए, एमकॉम, एमएससी के साथ ही एमबीए जैसी उपाधियां प्राप्त युवा भी चपरासी बनने की कतार में हैं।
यह स्थिति तब है जब सचिवालय प्रशासन विभाग ने चपरासी के लिए न्यूनतम पांचवी पास योग्यता तय की थी। आवेदकों में सर्वाधिक संख्या दसवीं पास हैं। हाईस्कूल या उसके समकक्ष आवेदक 11.21 लाख हैं। 12वीं पास आवेदक 7.50 लाख हैं। 1415 अभ्यर्थी अन्य श्रेणियों के हैं जबकि 2681 की श्रेणियों का खुलासा नहीं है।
कमेटी तय करेगी कैसे करें साक्षात्कार
चतुर्थ श्रेणी के 369 पदों पर 23 लाख से ज्यादा आवेदन आने पर बड़ा सवाल यह खड़ा हो गया है कि भर्ती कैसे की जाए। आवेदकों को कैसे शाॅर्ट लिस्ट किया जाए, साक्षात्कार कैसे लिए जाएं? यदि सभी आवेदकों के साक्षात्कार लिए गए तो महीनों, सालों में भी प्रक्रिया पूरी नहीं हो पाएगी। यदि हर रोज 2000 आवेदकों का साक्षात्कार लिया जाए तो 23 लाख के साक्षात्कार लेने में लगभग साढ़े तीन साल लग जाएंगे। ऐसे में एक संभावना यह भी है कि ज्यादा योग्यता वाले अभ्यर्थियों को भर्ती प्रक्रिया से अलग कर दिया जाएगा। दूसरी संभावना लिखित परीक्षा की सिफारिश करना भी हो सकती है। बदले हालात में भर्ती व साक्षात्कार प्रक्रिया तय करने के लिए सचिवालय प्रशासन विभाग ने तीन विशेष सचिवों की कमेटी बनाई है। इसी की रिपोर्ट के बाद भर्ती प्रक्रिया का रोडमैप तय होगा।
सचिवालय में चपरासी पद के लिए 23 लाख आवेदन
एक पद पर 6250 दावेदार 1.50 लाख आवेदक ग्रेजुएट 25 हजार पोस्ट ग्रेजुएट
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC