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शिक्षामित्रों को स्कूल जाने के आदेश के बाद भी आंदोलन पर अड़े

सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद बेसिक शिक्षा विभाग ने शुक्रवार को स्थिति स्पष्ट नहीं की। आंदोलन कर रहे शिक्षामित्रों को स्कूलों में भेजकर शिक्षण कार्य कराने का आदेश दिया।
साथ ही शिक्षण कार्य प्रभावित करने वालों पर कार्रवाई का निर्देश दिया है। वहीं, शिक्षामित्र अभी आंदोलन जारी रखने पर अड़े हुए हैं। प्रदेश के विशेष सचिव देव प्रताप सिंह ने बीएसए को पत्र जारी कर कहा कि, शिक्षामित्रों के आंदोलन के कारण विद्यालयों में शिक्षण कार्य प्रभावित हो गया है। यह सब बच्चों की शिक्षा के लिहाज से ठीक नहीं है। इसलिए सभी शिक्षामित्रों और उनका साथ दे रहे शिक्षकों को अपने विद्यालयों में भेजने का आदेश दिया है। यह भी कहा है कि विद्यालयों में बच्चों की पढ़ाई में अड़चन पैदा करने वालों को चिन्हित किया जाए। जो भी शिक्षण में बाधा बन रहे हैं, उनके खिलाफ कार्रवाई की जाए। इसमें इस बात का जिक्र नहीं किया है कि अगर शिक्षामित्र स्कूल में जाकर पढ़ाएंगे तो वह शिक्षामित्र के तौर पर शिक्षण कार्य करेंगे या फिर सहायक शिक्षक के रूप में बच्चों को पढ़ाएंगे। इस संबंध में बीएसए सतेंद्र कुमार भी कुछ साफ नहीं कह पाए हैं। शासन के आदेश के बाद बीएसए, कमिश्नरी पार्क में शिक्षामित्रों के बीच गए और उन्हें समझाकर स्कूलों में पढ़ाने के लिए कहा। वहीं, शिक्षामित्र संगठन के जिलाध्यक्ष धर्मपाल ने कहा कि जब तक उनके पक्ष में स्थिति साफ नहीं की जाएगी, आंदोलन जारी रहेगा। उनका कहना था कि शासन को अपना रुख साफ करना होगा।

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