लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिया है
कि वह रोज एक घंटे स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) की समीक्षा करें। ब्लाक
स्तर के कर्मचारियों को इसके लिए जवाबदेह बनाएं। अपर मुख्य सचिव पंचायती
राज हर हफ्ते इसकी समीक्षा करें।
डीएम रोज ब्लाकों से इसके प्रगति की
रिपोर्ट लें। शौचालयों के बदले पैसा लेने वालों के खिलाफ स्थानीय प्रशासन
कड़ी कार्रवाई करें।1सोमवार को एनेक्सी में योगी वीडियो कांफ्रेंसिंग के
जरिये जिलाधिकारियों के साथ स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) की समीक्षा कर रहे
थे। मुख्यमंत्री ने कहा है कि प्रदेश को इसी साल दो अक्टूबर तक खुले में
शौचमुक्त घोषित (ओडीएफ) करने का लक्ष्य रखा है। इसे पूरा करने के लिए
शौचालयों के लिए लक्ष्य बनाकर मिशन मोड में बिना गुणवत्ता समझौता किये
शौचालयों के निर्माण में तेजी लाएं।1हर शौचालय का सत्यापन, जियो टैगिंग,
फोटोग्राफ अपलोडिंग अनिवार्य रूप से कराएं। साथ ही ओडीएफ गांवों का सत्यापन
भी कराएं। योगी ने कहा कि ग्राम पंचायत में कम से कम एक प्रशिक्षित
स्वच्छाग्रही की तैनाती की जाए। मनोबल बढ़ाने के लिए इनको मानदेय देने का
भी निर्देश दिया। यह भी कहा कि समाज के प्रतिष्ठित व्यक्तियों, स्वयंसेवी
संगठनों, संस्थाओं और सहभागी विभागों के अधिकारियों एवं कर्मचारियों को
कार्यक्रम से जोड़ कर स्वस्थ्य भारत से जुड़े स्वच्छता के इस अभियान को
जनआंदोलन बनाएं। 1’अपर मुख्य सचिव हर हफ्ते करें प्रगति की समीक्षा 1’ब्लॉक
स्तर के कर्मचारियों को बनाएं जवाबदेह
दो दर्जन जिलों में अपेक्षित प्रगति नहीं1समीक्षा के दौरान मुख्यमंत्री ने
सीतापुर, आजमगढ़, बस्ती, चित्रकूट, बलिया, मऊ, कुशीनगर, लखनऊ, रायबरेली,
महराजगंज, फैजाबाद, बलरामपुर, बाराबंकी, इलाहाबाद, हरदोई, फतेहपुर, लमीखपुर
खीरी, चंदौली, अलीगढ़, सुलतानपुर, सिद्धार्थनगर, गोंडा, देवरिया, संभल और
महोबा की धीमी प्रगति पर नाराजगी जताते हुए कहा है कि इस कार्य में शिथिलता
क्षम्य नहीं होगी। बेहतर प्रगति वाले जिलों के डीएम की मुख्यमंत्री ने
सराहना भी की।
