संस्कृत के 77 कॉलेजों को पहले मिलेगा अनुदान
लखनऊ (ब्यूरो)। राज्य सरकार भले ही मान्यता प्राप्त 246 संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेना चाहती हो, मगर मानक पर सिर्फ 77 कॉलेज ही खरे उतर रहे हैं। इसलिए पहले चरण में इन कॉलेजों को ही अनुदान सूची पर लेने के लिए मंगलवार को कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव रखे जाने की तैयारी है। कैबिनेट से मंजूरी मिलते ही इनको अनुदान सूची पर लेने संबंधी आदेश जारी कर दिया जाएगा। फिर इन कॉलेजों के शिक्षकों व कर्मचारियों को सरकारी कॉलेजों के बराबर वेतनमान मिलने लगेगा।
सूबे में मान्यता प्राप्त संस्कृत कॉलेजों को अनुदान पर लेने की कवायद वर्ष 2007 से लेने की चल रही है। तत्कालीन मुलायम सरकार ने संस्कृत कॉलेजों को अनुदान पर लेने का निर्णय किया था, लेकिन सत्ता बदलने के बाद माया सरकार ने अनुदान के लिए शर्तों में बदलाव कर दिया। इससे निजी क्षेत्र के मान्यता प्राप्त कॉलेजों को अनुदान पर नहीं लिया जा सका। प्रदेश में अखिलेश सरकार के सत्ता में आते ही एक बार फिर निजी संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेने की कवायद शुरू हुई। अखिलेश सरकार ने 5 फरवरी 2014 को 246 संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेने का निर्णय किया था। इसके लिए कॉलेजों में 100 छात्रों की अनिवार्यता को खत्म कर 50 छात्र कर दिया। प्रमुख सचिव माध्यमिक शिक्षा जितेंद्र कुमार ने माध्यमिक शिक्षा निदेशालय से इन कॉलेजों की सत्यापन रिपोर्ट मांगी थी। निदेशालय ने शासन को जो रिपोर्ट दी उसमें सिर्फ 71 कॉलेज ही मानक पर खरे पाए गए। 153 कॉलेज ऐसे हैं जो मानक पूरा नहीं करते तथा 32 कॉलेजों में भारी कमियां पाई गईं। शासन को इसके आधार पर प्रस्ताव भेजा गया था, लेकिन 77 कॉलेजों को अंतिम रूप से पहले चरण में अनुदान सूची पर लेने के लिए कैबिनेट से प्रस्ताव मंजूर कराने की तैयारी है। वहीं अन्य कॉलेजों को कमियां दूर करने का मौका दिया जाएगा और जब यह दूर हो जाएंगी, तो इन्हें अनुदान सूची में लेने के लिए नए सिरे से शासन को प्रस्ताव भेजा जाएगा।
कॉलेजों को अनुदान पर लेने के लिए बदला गया था मानक
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe सरकारी नौकरी - Government Jobs - Current Opening All Exams Preparations , Strategy , Books , Witten test , Interview , How to Prepare & other details
लखनऊ (ब्यूरो)। राज्य सरकार भले ही मान्यता प्राप्त 246 संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेना चाहती हो, मगर मानक पर सिर्फ 77 कॉलेज ही खरे उतर रहे हैं। इसलिए पहले चरण में इन कॉलेजों को ही अनुदान सूची पर लेने के लिए मंगलवार को कैबिनेट बैठक में प्रस्ताव रखे जाने की तैयारी है। कैबिनेट से मंजूरी मिलते ही इनको अनुदान सूची पर लेने संबंधी आदेश जारी कर दिया जाएगा। फिर इन कॉलेजों के शिक्षकों व कर्मचारियों को सरकारी कॉलेजों के बराबर वेतनमान मिलने लगेगा।
सूबे में मान्यता प्राप्त संस्कृत कॉलेजों को अनुदान पर लेने की कवायद वर्ष 2007 से लेने की चल रही है। तत्कालीन मुलायम सरकार ने संस्कृत कॉलेजों को अनुदान पर लेने का निर्णय किया था, लेकिन सत्ता बदलने के बाद माया सरकार ने अनुदान के लिए शर्तों में बदलाव कर दिया। इससे निजी क्षेत्र के मान्यता प्राप्त कॉलेजों को अनुदान पर नहीं लिया जा सका। प्रदेश में अखिलेश सरकार के सत्ता में आते ही एक बार फिर निजी संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेने की कवायद शुरू हुई। अखिलेश सरकार ने 5 फरवरी 2014 को 246 संस्कृत कॉलेजों को अनुदान सूची पर लेने का निर्णय किया था। इसके लिए कॉलेजों में 100 छात्रों की अनिवार्यता को खत्म कर 50 छात्र कर दिया। प्रमुख सचिव माध्यमिक शिक्षा जितेंद्र कुमार ने माध्यमिक शिक्षा निदेशालय से इन कॉलेजों की सत्यापन रिपोर्ट मांगी थी। निदेशालय ने शासन को जो रिपोर्ट दी उसमें सिर्फ 71 कॉलेज ही मानक पर खरे पाए गए। 153 कॉलेज ऐसे हैं जो मानक पूरा नहीं करते तथा 32 कॉलेजों में भारी कमियां पाई गईं। शासन को इसके आधार पर प्रस्ताव भेजा गया था, लेकिन 77 कॉलेजों को अंतिम रूप से पहले चरण में अनुदान सूची पर लेने के लिए कैबिनेट से प्रस्ताव मंजूर कराने की तैयारी है। वहीं अन्य कॉलेजों को कमियां दूर करने का मौका दिया जाएगा और जब यह दूर हो जाएंगी, तो इन्हें अनुदान सूची में लेने के लिए नए सिरे से शासन को प्रस्ताव भेजा जाएगा।
कॉलेजों को अनुदान पर लेने के लिए बदला गया था मानक
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe सरकारी नौकरी - Government Jobs - Current Opening All Exams Preparations , Strategy , Books , Witten test , Interview , How to Prepare & other details