प्रदेश के 949 जूनियर स्कूलों के विद्यार्थी अगले सत्र से स्मार्ट क्लास में पढ़ सकेंगे बेसिक शिक्षा विभाग ने स्मार्ट क्लास के लिए कम्पनियों से प्रस्ताव मांगे हैं। इसके लिए दिए जा रहे लैपटॉप में सिम स्लॉट होगा और 10 जीबी का प्रतिमाह डाटा दिया जाएगा। करार होने के 60 दिनों के भीतर स्मार्ट क्लास का सेटअप कम्पनियों को स्कूल में लगाना होगा। लगभग 300 स्मार्ट क्लास आकांक्षी जिलों में लगाए जाएंगे।
राज्य सरकार 26 जिलों के 949 उच्च प्राइमरी स्कूलों में स्मार्ट क्लास लगवाएगी, जिसमें सभी आठ आकांक्षी जिले शामिल हैं। अभी तक लगभग पांच हजार स्कूल अपने संसाधनों से स्मार्ट क्लास चला रहे हैं। कक्षा 6 से 8 तक का पाठ्यक्रम व विषवार कंटेंट इसमें पहले से लोड किया जाएगा। एससीईआरटी ने जितना भी डिजिटल कंटेंट विकसित किया है उसे डिजिटल लाइब्रेरी में रखा जाएगा । इसके लिए ऐसी व्यवस्था विकसित की जाएगी कि शिक्षक आसानी से इसे इस्तेमाल कर सके। दीक्षा, प्रेरणा, मानवसंपदा व समर्थ इसमें इंस्टाल किया जाएगा। जिस भी कम्पनी से ये लैपटॉप, प्रोजेक्टरव अन्य हार्डवेयरखरीदे जाएंगे, उनकी तीन साल की देखरेख का जिम्मा कंपनी का होगा। इसके अलावा कम्पनी को प्रधानाध्यापक व शिक्षकों को स्मार्ट क्लास चलाने का प्रशिक्षण भी दिया जाएगा। स्मार्ट क्लास के लिए हेल्पडेस्क व ऑनलाइन सपोर्ट देने का जिम्मा भी कम्पनी को उठाना होगा।
यदि तीन साल में किसी भी कक्षा या विषय के पाठ्यक्रम में परिवर्तन होगा तो कम्पनी इसे सिस्टम में परिवर्तित करेगी। वहीं सभी हार्डवेयर पर स्टिकर लगाए जाएंगे जिन्हें निकाला न जा सके। ऐसा इसलिए कि ये खुले बाजार में चोरी करके न बेचे जा सके। शिक्षकों की मदद व तकनीकी दिक्कतों के हल के लिए कम्पनियों को एक केन्द्रीकृत हेल्पडेस्क बनानी होगी और जिला स्तर पर आईटी कोआर्डिनेटर रखने होंने।
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