सरकारी स्कूलों में 1425 सहायक अध्यापकों की भर्ती का रास्ता साफ

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने राजकीय विद्यालयों में एलटी ग्रेड के 1425 सहायक अध्यापकों की भर्ती सम्बन्धित विषय की परास्नातक डिग्री को क्वालिटी प्वाइंट अंक देकर तीन माह में चयन प्रक्रिया पूरी करने का निर्देश दिया है.
हाईकोर्ट ने कहा कि क्वालिटी प्वाइंट अंक उसी विषय की डिग्री पर दिया जा सकता है, जिस विषय के अध्यापकों की भर्ती का विज्ञापन निकाला गया था. कोर्ट ने कहा है कि विज्ञापित विषय से इतर दूसरे विषय की परास्नातक डिग्री पर क्वालिटी प्वाइंट अंक देने का कोई औचित्य नहीं है.

क्योंकि यह व्यवस्था भर्ती में शामिल अभ्यर्थियों में से योग्यतम अभ्यर्थी के चयन के लिए अपनायी गयी है ताकि संबंधित विषय को पढ़ाने वाले योग्य शिक्षक नियुक्त हो सकें और शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार हो सके. कोर्ट ने एलटी ग्रेड के सहायक अध्यापकों की भर्ती में संबंधित विषय के परास्नातक डिग्री को ही क्वालिटी प्वाइंट अंक देने को सही माना है.

यह आदेश जस्टिस एसपी केशरवानी ने रविन्द्रबाबू श्रीवास व अन्य सहित दर्जनों याचिकाओं को स्वीकार करते हुए दिया है. कोर्ट ने कहा है कि विज्ञापित विषय से इतर विषय की डिग्री को क्वालिटी प्वाइंट अंक देना शासनादेश की गलत व्याख्या करना है.

याचिका पर अधिवक्ता विभू राय ने बहस की और शिक्षकों के भर्ती की प्रक्रिया पूरी करने की मांग की.
गौरतलब है कि प्रदेश के राजकीय विद्यालयों में एलटी ग्रेड शिक्षकों के 1425 पदों की भर्ती के लिए वर्ष 2012 में विज्ञापन निकाला गया था. जिसमें परास्नातक डिग्रीधारकों को क्वालिटी प्वाइंट अंक देने की व्यवस्था की गयी थी.

लेकिन इसमें इतर विषय के परास्नातकों को भी क्वालिटी प्वांइट अंक दिये गये. कई अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र भी जारी हो गया. कोर्ट ने नियुक्ति पर रोक लगा दी थी और चयनित अभ्यर्थियों को ज्वाइन करने से भी रोक दिया था.

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