ललितपुर। नगर क्षेत्र में संचालित परिषदीय विद्यालयों की शिक्षा
व्यवस्था भगवान भरोसे चल रही है। नगर क्षेत्र में संचालित हो रहे परिषदीय
प्राथमिक विद्यालयों की बात करें तो प्राथमिक विद्यालयों की कुल संख्या 26
है, इनमें से
मात्र 16 विद्यालयों में ही प्रधानाध्यापक तैनात हैं और 26
प्राथमिक विद्यालयों के सापेक्ष नगर क्षेत्र में मात्र तीन सहायक अध्यापक
हैं। यानी 26 परिषदीय प्राथमिक विद्यालयों की शिक्षा व्यवस्था मात्र 19
शिक्षकों के भरोसे पर चल रही है।
वहीं, उच्च प्राथमिक विद्यालयों की
संख्या नौ है, लेकिन इनमें से किसी भी उच्च प्राथमिक विद्यालयों में कोई भी
प्रधानाध्यापक नहीं है। इन विद्यालयों में कुल 14 सहायक अध्यापक ही तैनात
हैं, जो प्रधानाध्यापक का भी काम कर हैं और शिक्षण का भी काम कर रहे हैं।
अस्थाई व्यवस्था के लिए सात अनुदेशकों से काम लिया जा रहा है। इनमें से 12
परिषदीय विद्यालय तो ऐसे हैं जो शिक्षकों के अभाव में पूरी तरह से
अनुदेशकों व शिक्षामित्रों के भरोसे पर है। यदि अनुदेशक व शिक्षामित्र न
होते तो इन विद्यालयों में ताला डला होता। शिक्षकों की कमी के कारण ही नगर
क्षेत्र में एक भी अंग्रेजी माध्यम का परिषदीय विद्यालय नहीं खुल पाया है।
क्योंकि अंग्रेजी माध्यम के एक विद्यालय में एक प्रधानाध्यापक व तीन सहायक
अध्यापक की आवश्यकता हैं, नगर क्षेत्र में तो पूरे ही तीन सहायक अध्यापक
हैं। ऐसा भी नहीं है यह समस्या जिला बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों और
जिला प्रशासन के संज्ञान में नहीं है। अनेकों बार शासन से इस समस्या के
निस्तारण के लिए पत्र भेजा गया है, लेकिन शासन द्वारा अभी तक कोई महरबानी
नहीं की गई है। उम्मीद है कि अगर मुख्यमंत्री योगी आदित्य नाथ इस समस्या को
गंभीरता से लेते हैं, तो आने वाले दिनों में नगर क्षेत्र के गरीब परिवार
के बच्चों को सरकारी स्कूलों में बेहतर शिक्षा मिल सकेगी।
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