प्रयागराजः टीईटी पास करने के बाद भी नौकरी से रह जाएंगे वंचित, वजह है ओवरएज

शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) की उत्तर कुंजी जारी होने के बाद अभ्यर्थियों को कम से कम इतना अंदाज हो गया है कि परीक्षा में पास होंगे या नहीं। हालांकि इनमें कई अभ्यर्थी ऐसे हैं जो टीईटी उत्तीर्ण होने के बावजूद भविष्य में नौकरी से वंचित रह जाएंगे, क्योंकि वे ओवरएज हो चुके हैं।
बीएड डिग्रीधारक इन अभ्यर्थियों ने अब मुख्यमंत्री को ज्ञापन प्रेषित कर मांग की है कि उन्हें आयु सीमा में छूट दी जाएगी और 68500 शिक्षक भर्ती में शामिल होने का मौका दिया जाए।
संजय कुमार मिश्र, नीलेश शर्मा, विजय शंकर यादव, रेखा शुक्ला, रूमी तिवारी, संजय पांडेय, राजीव तिवारी समेत हजारों की संख्या में अभ्यर्थियों ने वर्ष 2011 में बीएड करने के साथ शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) भी उत्तीर्ण की थी। इसके बाद सभी नौकरी के इंतजार में बैठे रहे।
पिछली 68500 शिक्षक भर्ती परीक्षा में बीएड डिग्रीधारकों को शामिल होने की अनुमति नहीं मिली थी। इसमें केवल बीटीसी वाले शामिल हुए थे। अब अगली 68500 शिक्षक भर्ती शुरू होने जा रही है और इसमें बीएड डिग्रीधारकों को भी शामिल होने की अनुमति दी गई है लेकिन 2011 में प्राप्त की गई टीईटी की उपाधि अमान्य हो चुकी है, क्योंकि यह पांच साल के लिए ही मान्य होती है। इसके बाद टीईटी दोबारा उत्तीर्ण करना पड़ता है।

अब अगली 68500 शिक्षक भर्ती की प्रक्रिया शुरू हो गई है। ऐसे में 2011 में टीईटी उत्तीर्ण कर चुके अभ्यर्थी इस बार फिर टीईटी में शामिल हुए। अभ्यर्थी संजय मिश्र और उनके साथियों का कहना है कि टीईटी की उत्तरकुंजी जारी होने के बाद यह तय हो गया है कि वे टीईटी में उत्तीर्ण होने जा रहे हैं लेकिन शिक्षक भर्ती का इंतजार करते-करते अब ओवरएज हो चुके हैं।

ऐसे में टीईटी उत्तीर्ण करने के बाद भी ओवरएज हो चुके अभ्यर्थियों को शिक्षक भर्ती परीक्षा में शामिल होने का मौका नहीं मिलेगा। संजय और अन्य अभ्यर्थियों ने मुख्यमंत्री से मांग की है कि परीक्षा में शामिल होने के लिए निर्धारित अधिकतम आयु सीमा में छूट दी जाए और कुछ वेटेज मार्क्स भी दिए जाएं।