संसदीय समिति ने पीएचडी उपाधि धारकों की गुणवत्ता पर सवाल खड़े किए
नई दिल्ली (भाषा)। देश में पीएचडी की गुणवत्ता के बारे में गंभीर सवाल खड़े करते हुए एक संसदीय समिति ने यह समझने के लिए मूल्यांकन रिपोर्ट की मांग की है कि शिक्षकों के रिक्त पदों को भरने के लिए उपयुक्त उम्मीदवारों की तलाश कर पाना मुश्किल क्यों हो रहा है।
हर साल 7,000 से अधिक छात्रों को पीएचडी की उपाधि दिए जाने के बीच मानव संसाधन विकास पर संसद की स्थायी समिति ने सुझाव दिया है कि पीएचडी और दूसरे शोध विद्वानों का मूल्यांकन की पूरी व्यवस्था पर फिर से गौर किया जाए। बीते सप्ताह संसद में पेश संसद की इस स्थायी समिति ने शोध संबंधी फेलोशिप की संख्या में इजाफा करने और शिक्षण असिस्टेंटशिप के लिए नई योजनाएं शुरू करने का सुझाव दिया है। पीएचडी उपाधि धारकों की गुणवत्ता की ओर ध्यान खींचते हुए समिति ने कहा कि भारतीय विविद्यालयों में इसको लेकर पंजीकरण बहुत कम है। समिति ने कहा कि आईआईटी, आईआईएम और एनआईटी जैसे प्रमुख शिक्षण संस्थानों में शिक्षकों की कमी आगे भी बनी रहेगी, क्योंकि निकट भविष्य में कोई सुधार नजर नहीं आता है। उसने कहा, ‘‘मानव संसाधन विकास मंत्रालय को शिक्षा के पेशे की प्रतिष्ठा बढ़ाने के लिए कदम उठाने चाहिए।’
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe
नई दिल्ली (भाषा)। देश में पीएचडी की गुणवत्ता के बारे में गंभीर सवाल खड़े करते हुए एक संसदीय समिति ने यह समझने के लिए मूल्यांकन रिपोर्ट की मांग की है कि शिक्षकों के रिक्त पदों को भरने के लिए उपयुक्त उम्मीदवारों की तलाश कर पाना मुश्किल क्यों हो रहा है।
हर साल 7,000 से अधिक छात्रों को पीएचडी की उपाधि दिए जाने के बीच मानव संसाधन विकास पर संसद की स्थायी समिति ने सुझाव दिया है कि पीएचडी और दूसरे शोध विद्वानों का मूल्यांकन की पूरी व्यवस्था पर फिर से गौर किया जाए। बीते सप्ताह संसद में पेश संसद की इस स्थायी समिति ने शोध संबंधी फेलोशिप की संख्या में इजाफा करने और शिक्षण असिस्टेंटशिप के लिए नई योजनाएं शुरू करने का सुझाव दिया है। पीएचडी उपाधि धारकों की गुणवत्ता की ओर ध्यान खींचते हुए समिति ने कहा कि भारतीय विविद्यालयों में इसको लेकर पंजीकरण बहुत कम है। समिति ने कहा कि आईआईटी, आईआईएम और एनआईटी जैसे प्रमुख शिक्षण संस्थानों में शिक्षकों की कमी आगे भी बनी रहेगी, क्योंकि निकट भविष्य में कोई सुधार नजर नहीं आता है। उसने कहा, ‘‘मानव संसाधन विकास मंत्रालय को शिक्षा के पेशे की प्रतिष्ठा बढ़ाने के लिए कदम उठाने चाहिए।’
सरकारी नौकरी - Government of India Jobs Originally published for http://e-sarkarinaukriblog.blogspot.com/ Submit & verify Email for Latest Free Jobs Alerts Subscribe