ऑनलाइन प्रमाणपत्र फर्जी, अब ऑफलाइन सत्यापन का बहाना:-फर्जी अभिलेखों के सहारे नौकरी करने वाली शिक्षिकाओं के बचाव में उतरा विभाग

प्रतापगढ़। बेसिक शिक्षा विभाग की नौ शिक्षिकाओं के टीईटी प्रमाणपत्र आनलाइन फर्जी मिलने के बाद विभागीय अधिकारियों ने ऑफलाइन सत्यापन कराने के लिए परीक्षा नियामक प्राधिकरण को भेजा है। कुछ कर्मचारियों के बहकावे में आए अफसर फर्जी अभिलेखों पर नौकरी करने वाली शिक्षिकाओं के खिलाफ कार्रवाई करने के बजाय बचाव में उतर आए हैं।



बेसिक शिक्षा विभाग में 69,000 सहायक अध्यापक भर्ती में शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) का फर्जी प्रमाणपत्र बनवाकर नौकरी हासिल करने वाली शिक्षिकाओं के खिलाफ कार्रवाई करने के बजाय विभागीय अधिकारी बचाव कर रहे हैं। आश्चर्य की बात तो यह है कि ऑनलाइन सत्यापन में प्रमाणपत्र फर्जी मिलने के बाद भी विभाग अब यह कह रहा है कि ऑफलाइन सत्यापन कराया जा रहा है। इसका मतलब यह हुआ कि सत्यापन कराने में भी खेल हो रहा है। विभाग से हर माह लगभग साठ हजार वेतन पाने वाली शिक्षिकाओं के परिजन मामले को दबाने के लिए लगे हुए हैं। इन शिक्षिकाओं ने वर्ष 2016 में टीईटी पास करने का दावा किया था। विभाग ने परीक्षा नियामक प्राधिकरण की वेबसाइट पर जांच किया तो मामला फर्जी निकला। इसके बाद से विभाग के कर्मचारी इसे दबाने में जुट गए हैं। बीएसए को जिले में पहली बार तैनाती मिली है, इसलिए अभी विभागीय खेलों की उन्हें ठीक से जानकारी भी नहीं है। इसलिए वह भी मामले को गंभीरता से नहीं ले रहे.

फाइल मंगाकर अध्ययन कर रहा हूं, जिसमें शिक्षिकाओं के फर्जी अभिलेखों के बाबत शासन को पत्र लिखा गया है। पूरा मामला शीर्ष अफसरों की जानकारी में है, जल्द ही कठोर कदम उठाया जाएगा। भूपेंद्र सिंह, बीएसए