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विनिमितीकरण तदर्थ शिक्षकों का अधिकार , शिक्षकों के धैर्य की परीक्षा न ली जाये

जागरण संवाददाता, उरई : तदर्थ शिक्षकों के विनिमितीकरण और समस्याओं के निराकरण की मांग को लेकर माध्यमिक शिक्षक संघ ने मंगलवार को जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय पर धरना देकर जोरदार नारेबाजी की।
उन्होंने कहा कि कई वर्षों से शिक्षक विनिमितीकरण की मांग कर रहे हैं लेकिन अब तक सुनवाई नहीं की गयी। अब इस उपेक्षा को बर्दाश्त नहीं किया जायेगा। जल्दी ही मांग नहीं मानी गयी तो शिक्षक सड़कों पर उतरकर आंदोलन के लिए बाध्य होंगे।
मंगलवार को पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार माध्यमिक शिक्षक बड़ी संख्या में जिला विद्यालय निरीक्षक कार्यालय परिसर में एकत्रित हुए। यहां पर सभी शिक्षक धरने पर बैठ गये। धरना सभा में पहुंचे शिक्षक विधायक सुरेश कुमार त्रिपाठी ने कहा कि शिक्षकों के अधिकारों की लड़ाई लड़ी जायेगी। इसमें किसी तरह का समझौता नहीं होगा। विनिमितीकरण तदर्थ शिक्षकों का अधिकार है। इसके बाद भी सरकार सुनवाई नहीं कर रही है। शिक्षक धैर्य बनाये रखें, चाहे कुछ भी हो जाये अधिकार दिलाए जायेंगे। प्रांतीय मंत्री डा. राकेश निरंजन ने कहा कि शिक्षकों के धैर्य की परीक्षा न ली जाये। काफी समय से मांग के लिए धरना प्रदर्शन किया जा रहा है लेकिन उपेक्षा के सिवा कुछ नहीं मिला। शिक्षकों को पूरी तरह से उपेक्षित रखा गया है। जिलाध्यक्ष रविशंकर अग्रवाल ने कहा कि जिले स्तर पर शिक्षकों के जो भी प्रकरण लंबित हैं उनको शीघ्रता से निपटाया जाये। शिथिलता के चलते शिक्षकों की समस्याओं का निराकरण नहीं हो पा पहा है। इस मौके पर जिला मंत्री नुजहत जहां, रामजी गुर्जर, योगेश द्विवेदी, अजीत सक्सेना, प्रदीप गुप्ता, मिथलेश त्रिवेदी, राजेश मिश्रा सहित कई शिक्षक उपस्थित रहे।
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