फर्जीवाड़ा टेट 2011 - अभी तक प्राप्त सबूतों और साक्ष्यो से हुई जानकारी : 72825 प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती Latest News

आइए आज हम फर्जीवाड़ा के स्तर की जानकारी जो अभी तक प्राप्त सबूतों और साक्ष्यो से हुई है। फर्जीवाड़ा क़े मुख्यतः स्तर निम्न हैँ
1- टेट 2011 की ओएमआर सीट की जाँच के दौरान का फर्जीवाड़ा ( उस समय जब ओएमआर शीट की जाँच चल रही थी काफी मात्रा में ऐसी कॉर्बन कॉपिया, का मूल्यांकन मैनुवाली हुआ,जो नियम विरुद्ध था एवं बिना उपस्थित/अनुपस्थिति सीट आये रिजल्ट तैयार किया गया जो की नियम विरुद्ध था।

सभी बाते विवेचना के दौरान प्रकाश मे आई)
2- रिजल्ट जारी होने के पश्चात 4 बार रिजल्ट में संसोधन हुआ। लोगो के 1-6 नंबर तक बढ़ने थे। परन्तु कुछ ऐसे लोग जो टॉप हो गए, आज तक किसी विभाग क़े पास ये डेटा नही है की किस अभ्यर्थी के कितने नंबर बढे। (आप को भी पता हैं की क्या खेल हुआ)
3- नंबर बढ़ाने का खेल चलता रहा इसी बीच कानपुर देहात की पुलिस ने कई लोगो को भारी रकम के साथ पकड़ा,और संजय मोहन का नाम प्रकाश मे आया,संजय मोहन भी पकडे गए। पुलिस ने माध्यमिक शिक्षा परिसद और अन्य जगह पर छापेमारी कर टेट 2011 के सभी रिकॉर्ड सील कर दिए।
4- सभी टेट 2011 रिकॉर्ड सील होने के पश्चात एक cd जो की न मूल रिजल्ट था न ही प्रमाणिक cd माना गया।जो की इस सभी प्रकरण क़े बाद की थी रखी थी उसी से पुनः रिजल्ट वेबसाइट पर प्रकाशित कर दिया गया,इसी बाद आप लोगो ने भी कुछ माह पूर्व वर्ष 2015 मे खबर समाचार पत्रो मे पढ़ी होगी, की टेबुलशन रजिस्टर में कई पन्नों को हटाकर नए पन्ने जोड़ दिए गए है। इसकी भी जाँच हो रही है।
5- उत्तर प्रदेश मे 18 मंडल थे और अभ्यर्थी को सुरु के अनुक्रमांक नंबर 01 से 18 के बीच दिए गए पर कुछ ऐसे अभ्यर्थी भी चयन पा गए है जो इसके इतर सिरीज के रोल नंबर हैं,और इसकी भी जाँच नही हुईं, वो ऑन लाइन रिजल्ट में भी दिख रहा हैँ। और एक ही रोल नंबर पर दो दो नाम,
नोट - मित्रो जो ये समाचार पत्रो मे आप पढ़ रहे है की आमुख जिला मे इतने कैंडिडेट पकडे गए , वो वह कैंडिडेट है जो इस श्रेणी में नही आते है और ये वो कैंडिडेट है जिन्होंने किसी कंप्यूटर एक्सपर्ट की मदद से अपने टेट 2011 क़े अंक पत्र पर कलाकारी करवाई है।
मित्रो ध्यान दीजियेगा चयनितों का डेटा ऑन लाइन कराने से सिर्फ ऊपर का फर्जीवाड़ा जिन्होंने अपने अंक पत्र पर कलाकारी कर चयन पाये है वही पकड़ में आ रहे है।
अंदर का फर्जीवाड़ा पकड़ना है तो ओएमआर शीट का पुनः मूल्यांकन जरुरी है। पता नही क्यों कुछ लोगो को सिर्फ ऊपर का फर्जीवाड़ा नज़र आता है, और सिर्फ चयनितों क़े डेटा ऑन लाइन से जैसे सभी फर्जीवाड़ा खत्म हो गया हो।
मित्रो सभी डॉक्यूमेंट इन लोगो क़े पास उपलब्ध थे, संपूर्ण फर्जीवाड़ा माननीय सुप्रीम कोर्ट मे उठाने क़े लिए बोला गया यहाँ पर हा कर क़े गए की सुप्रीम कोर्ट मे मुद्दा संपूर्ण फर्जीवाड़ा का उठायेगे पर सुप्रीम कोर्ट मे मुद्दा नही उठाया। कारण स्वार्थ जहाँ तक का मेरा चयन हो जाये वही तक फर्जीवाड़ा इनको दिखता है।
कहना सिर्फ इतना चाहता हूँ स्वार्थ की लड़ाई छोड़िये ओएमआर शीट का पुनः मूल्यांकन कराइये। और प्राप्त रिजल्ट से भर्ती करवाइये।
पर अब तो माननीय न्यायालय से याची बनने के कारण आप की नियुक्त का आदेश हो चुका है पूर्व तकथित चयनितों के द्वारा दिए गए अनुभव क़े आधार पर यह कह सकता हूँ की शायद ही आप इस सम्पूर्ण फर्जीवाड़ा बाहर करने की लड़ाई में पूर्ण रूप से सहयोग करेंगे।
माननीय उच्च न्यायालय में उक्त प्रकरण की नई रिट की समस्त तैयारी चल रही है। प्रभु ने चाहा तो विजय भी अवस्य मिलेगी।
मित्रो यदि किसी ग्रुप या व्यक्ति को यह बात ख़राब लगी हो तो माफ़ी चाहता हूँ, क्योकि सत्य सत्य होता है और सत्य कडुवा होता है। इस फर्जीवाड़ा मुद्दे पर मै स्वस्थ डिबेट को तैयार हूँ,
मित्रो कमेंट जरूर करियेगा ताकि उन बहरों की कानो मे आवाज़ जरूर पहुच जाये की हम लोगो को कमजोर न समझे हम भी फर्जीवाड़ा को संपूर्ण रूप से बाहर करवाकर चयन जरूर पायेगे।
आपका
विनय कुमार श्रीवास्तव

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