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पोस्ट ऑफिस में मौजूद हैं बचत के ढेरों विकल्प

यदि जोखिम रहित और सुरक्षित निवेश आपकी प्राथमिकता है, तो आप डाकघर की बचत योजनाओं में निवेश कर सकते हैं। इनमें आपको सुनिश्चित रिटर्न मिलता है। साथ ही किसी भी तरह का जोखिम नहीं उठाना पड़ता है। डाकघर में इन दिनों सात तरह की बचत योजनाएं हैं।
इनमें बचत खाता, रेकरिंग जमा खाता (आरडी अकाउंट), सावधि जमा खाता, मासिक आय योजना (एमआईएस), पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (पीपीएफ), राष्ट्रीय बचत पत्र (एनएससी) और वरिष्ठ नागरिक बचत खाता (एससीएसएस) शामिल हैं।

डाकघर बचत खाता 
यह बैंक के बचत खाते की तरह ही होता है। देश के किसी भी डाकघर में न्यूनतम 50 रुपये से यह खाता खोला जा सकता है। यह सिंगल और संयुक्त (ज्वाइंट) अकाउंट दोनों तरह से खोला सकता है। इस अकाउंट पर खाताधारक को सालाना 4 फीसदी ब्याज मिलता है, जो पूरी तरह करमुक्त है। इसमें खाताधारक को चैक व नामिनी की सुविधा भी मिलती है। 

डाकघर रेकरिंग जमा खाता योजना 
रेकरिंग डिपाजिट बचत का एक सिस्टमेटिक तरीका है। कोई भी वयस्क व्यक्ति देश के किसी भी डाकघर में आरडी खाता खोल सकता है। यह सिंगल या ज्वाइंट अकाउंट दोनों हो सकता है। इस खाते की परिपक्वता पांच साल होती है। प्रति माह इसमें 10 रुपये का निवेश जरूरी है। इस पर खाताधारक को 8.40 फीसदी ब्याज मिलता है। एक साल के बाद खाताधारक को 50 फीसदी तक की रकम निकालने की अनुमति है। तीन साल के बाद खाताधारक परिपक्वता से पहले भी इस खाते को बंद कर सकता है। इसमें अधिकतम निवेश की कोई सीमा नहीं है। 

डाकघर सावधि जमा खाता योजना 
डाकघर सावधि जमा खाता बैंक के एफडी की तरह होता है। डाकघर सावधि जमा खाते को किसी भी डाकघर में न्यूनतम 200 रुपये से खोला जा सकता है। इसमें निवेश की अधिकतम सीमा नहीं है। यह सिंगल और ज्वाइंट अकाउंट दोनों हो सकता है। इसमें परिपक्वता अवधि 1, 2, 3 और 5 साल होती है। फिलहाल इस पर खाताधारक को अलग-अलग परिपक्वता के मुताबिक 8.20 फीसदी से 8.50 फीसदी ब्याज मिल रहा है। पांच साल की परिपक्वता वाले जमा पर खाताधारक को आयकर कानून की धारा 80सी के तहत कर में कटौती का लाभ भी मिलता है।

मासिक आय खाता योजना 
डाकघर की मासिक आय खाता योजना खासकर ऐसे निवेशकों के लिए है, जो एकमुश्त राशि निवेश कर मासिक आधार पर ब्याज कमाना चाहते हैं। यह सेवानिवृत्त कर्मचारी और वरिष्ठ नागरिकों के लिए बहुत उपयोगी है। एमआईएस खाते की परिपक्वता अवधि पांच साल होती है। इसमें खाताधारक को एकमुश्त जमा पर हर माह ब्याज मिलता है। लेकिन, परिपक्वता पर किसी तरह का बोनस नहीं दिया जाता है। अभी इस पर 8.50 फीसदी ब्याज मिलता है। एमआईएस पर मिलने वाला ब्याज खुद ब खुद बचत खाते में जमा हो जाता है। सिंगल या ज्वाइंट अकाउंट दोनों तरह से इसे किसी भी डाकघर में खोला जा सकता है। सिंगल अकाउंट के लिए निवेश की न्यूनतम सीमा 1,500 रुपये और अधिकतम 4.5 लाख रुपये है। जबकि, ज्वाइंट अकाउंट में निवेश की न्यूनतम सीमा 1,500 रुपये और अधिकतम सीमा 9 लाख रुपये है। 

पब्लिक प्रॉविडेंट फंड (पीपीएफ) 
पीपीएफ अकाउंट वेतनभोगी और बिजनेस करने वाले दोनों वर्ग के लिए निवेश का एक बेहतर विकल्प है। इसमें एक वित्तवर्ष में अधिकतम एक लाख रुपये तक के निवेश पर कर में कटौती का लाभ मिलता है। इसे या एकमुश्त या 12 किश्तों में जमा कर सकते हैं। पीपीएफ अकाउंट नाबालिग और बालिग दोनों ही व्यक्ति का हो सकता है। इसकी परिपक्वता अवधि 15 साल है। प्रत्येक वित्तवर्ष में न्यूनतम 500 रुपये का निवेश जरूरी है। इस पर 8.80 फीसदी ब्याज मिलता है।पीपीएफ खाते पर खाताधारक को 2 फीसदी सालाना ब्याज पर लोन की भी सुविधा है। 

राष्ट्रीय बचत पत्र (एनएससी) 
यह निवेश का सर्वाधिक सुरक्षित और पर्याप्त रिटर्न देने वाला विकल्प है। इसे खासकर सरकारी कर्मचारियों, बिजनेसमैन और कर चुकाने वाले अन्य वेतनभोगी वर्ग की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए डिजाइन किया गया है। इसमें निवेश की अधिकतम सीमा नहीं है। यह दो तरह का होता है, टाइप- 1(VIII इश्यू) और टाइप- 2 (IX इश्यू), टाइप- 1 के अंतर्गत धारा 80सी के तहत सालाना 1 लाख रुपये तक कर में कटौती का लाभ मिलता है। इस पर ब्याज दर फिलहाल 8.60 फीसदी है। इसकी परिपक्वता अवधि पांच साल है। इस योजना में ट्रस्ट और एचयूएफ निवेश नहीं कर सकते हैं। टाइप- 2 में भी निवेश की कोई अधिकतम सीमा नहीं है। इसकी परिपक्वता 10 साल है। इसके अंतर्गत 8.90 फीसदी ब्याज मिलता है। दोनों ही स्थिति में न्यूनतम 100 रुपये का निवेश होना चाहिए। निवेश 100, 500, 1,000, 5,000 और 10,000 के गुणक में होना चाहिए।

वरिष्ठ नागरिक बचत खाता (एससीएसएस) 
यह 60 वर्ष के ऊपर के वरिष्ठ नागरिकों के लिए निवेश और रिटर्न का एक नया विकल्प है। हालांकि, 55 साल से 60 साल की उम्र के बीच में रिटायर होने वाले या वीआरएस (स्वैच्छिक सेवानिवृत्ति) लेने वाले व्यक्ति भी रिटायरमेंट के तीन माह पहले यह खाता खोल सकते हैं। यह खाता पत्नी के साथ ज्वाइंट खाता के रूप में भी खोला जा सकता है। एक हजार रुपये से यह खाता खोला जा सकता है। इसमें अधिकतम निवेश की सीमा 15 लाख रुपये है। इस अकाउंट की परिपक्वता पांच साल है, इससे पहले इसमें से निकासी नहीं हो सकती है। हालांकि, तीन साल बाद इसे बंद किया जा सकता है लेकिन ऐसी स्थिति में 1.5 फीसदी कम ब्याज मिलेगा। इस पर सालाना 9.30 फीसदी ब्याज मिलता है। जमाकर्ता परिपक्वता के बाद इसे और तीन साल के लिए बढ़ा सकता है। इस योजना में नामिनी की सुविधा है। आयकर की धारा 80सी के तहत इसमें जमाकर्ता को कर में कटौती का लाभ मिलता है। 10 हजार से अधिक की ब्याज आमदनी पर टीडीएस कटता है। 

सुरक्षित निवेश का साधन डाकघर
पोस्ट ऑफिस की सारी जमा योजनाएं पूरी तरह से सुरक्षित हैं। देश का कोई भी नागरिक यहां अपनी रकम जमा कर सकता है। जमाकर्ता को नॉमिनेशन की भी सुविधा प्राप्त है। वह जब चाहे नामित के नाम में परिवर्तन कर सकता है।

गांवों तक पहुंच सबसे बड़ी ताकत

गांवों तक पोस्ट ऑफिस की पहुंच ही इसकी सबसे बड़ी ताकत रही है, हालांकि टेक्नोलॉजी की गति का गांवों तक के पोस्ट ऑफिस में तालमेल नहीं बन पाया है। इसकी अहम ताकत जमा योजनाओं के पीछे भारत सरकार की मुहर है।

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