तत्काल नियुक्ति पत्र के लिए शिक्षकों ने घेरा कलेक्ट्रेट: दस्तावेज की जांच देर शाम तक होती रही, बनवाए गए नियुक्ति पत्र, अधिकारियों के इंतजार में भूखे-प्यासे बैठे रहे पूरे दिन
कौशांबी शिक्षकों की काउंसिलिंग व विद्यालय आवंटन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। अब उनको नियुक्ति पत्र मिलने का इंजतार है। इसके लिए शुक्रवार को सैकड़ों शिक्षकों ने बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय का घेराव किया। यहां कोई नहीं मिला तो वह कलेक्ट्रेट पहुंच गए। डीएम के मंडलीय मीटिंग में होने के कारण उनकी मुलाकात नहीं हो सकी। उन्होंने एडीएम को अपनी बात बताई। इसके बाद डीएम से मिलने के इंतजार में शाम करीब चार बजे तक बैठे रहे। इसके बाद उनकी मुलाकात बीएसए से हो सकी। बीएसए ने 24 घंटे में नियुक्त पत्र डाक से घर पहुंचाने का आश्वासन दिया। इसके बाद शिक्षक घर चले गए। 1एक सितंबर से शुरू हुई शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया में अब तक सभी शिक्षकों विद्यालय आवंटन तक की कार्रवाई पूरी हो चुकी है। शुक्रवार को सैकड़ों की संख्या में शिक्षक बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय पहुंचे। उन्होंने बीएसए कार्यालय का घेराव कर हाथों हाथ नियुक्ति पत्र दिए जाने की मांग कि, लेकिन बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय ने डाक से नियुक्ति पत्र भेजने की बात कही। 1इस पर शिक्षकों ने अधिक समय लगाने का हवाला देते हुए इस व्यवस्था का विरोध किया। और उनसे नियम में परिवर्तन करने की मांग की। बीएसए कार्यालय ने परिवर्तन से इन्कार किया तो शिक्षक कलेक्ट्रेट पहुंचे। वहां डीएम से उनकी मुलाकात नहीं हुई। उन्होंने एडीएम राकेश श्रीवास्तव को अपनी समस्या बताई। उन्होंने इस संबंध में बीएसए से वार्ता की तो उन्होंने भी हाथों हाथ नियुक्ति पत्र न मिलने की बात कही। इसके बाद भी शिक्षक नहीं लौटे। वह कलेक्ट्रेट में ही डीएम के लौटने का इंतजार करने लग। इसी बीच उनको जानकारी हुई कि बीएसए कार्यालय आ गए है। भारी संख्या में शिक्षक दोबारा बीएसए कार्यालय आ गए। बीएसए सत्येंद्र सिंह से वह नियुक्ति पत्र की मांग करने लगे। बीएसए ने बताया कि वह डाक से ही नियुक्ति पत्र भेजेंगे। शिक्षकों ने इस प्रक्रिया में देरी होने की बात कही। 1इस पर उन्होंने बताया कि पत्र स्पीड पोस्ट से भेजा जाएगा। जो दो दिनों में पहुंचेगा। उनके आश्वासन के बाद शिक्षक घर चले गए। बीएसए ने बताया कि शुक्रवार को पूरे दिन शिक्षकों के दस्तावेज की जांच व नियुक्ति पत्र तैयार किया गया है। कल हर हाल में डाक से नियुक्ति पत्र भेज दिया जाएगा।जागरण संवाददाता, कौशांबी *शिक्षकों की काउंसिलिंग व विद्यालय आवंटन की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है*। अब उनको नियुक्ति पत्र मिलने का इंजतार है। इसके लिए शुक्रवार को सैकड़ों शिक्षकों ने बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय का घेराव किया। यहां कोई नहीं मिला तो वह कलेक्ट्रेट पहुंच गए। डीएम के मंडलीय मीटिंग में होने के कारण उनकी मुलाकात नहीं हो सकी। उन्होंने एडीएम को अपनी बात बताई। इसके बाद डीएम से मिलने के इंतजार में शाम करीब चार बजे तक बैठे रहे। इसके बाद उनकी मुलाकात बीएसए से हो सकी। बीएसए ने 24 घंटे में नियुक्त पत्र डाक से घर पहुंचाने का आश्वासन दिया। इसके बाद शिक्षक घर चले गए। *एक सितंबर से शुरू हुई शिक्षकों की भर्ती प्रक्रिया में अब तक सभी शिक्षकों विद्यालय आवंटन तक की कार्रवाई पूरी हो चुकी* है। शुक्रवार को सैकड़ों की संख्या में शिक्षक बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय पहुंचे। उन्होंने बीएसए कार्यालय का घेराव कर हाथों हाथ नियुक्ति पत्र दिए जाने की मांग कि, लेकिन बेसिक शिक्षा अधिकारी कार्यालय ने डाक से नियुक्ति पत्र भेजने की बात कही। 1इस पर शिक्षकों ने अधिक समय लगाने का हवाला देते हुए इस व्यवस्था का विरोध किया। और उनसे नियम में परिवर्तन करने की मांग की। बीएसए कार्यालय ने परिवर्तन से इन्कार किया तो शिक्षक कलेक्ट्रेट पहुंचे। वहां डीएम से उनकी मुलाकात नहीं हुई। उन्होंने एडीएम राकेश श्रीवास्तव को अपनी समस्या बताई। उन्होंने इस संबंध में बीएसए से वार्ता की तो उन्होंने भी हाथों हाथ नियुक्ति पत्र न मिलने की बात कही। इसके बाद भी शिक्षक नहीं लौटे। वह कलेक्ट्रेट में ही डीएम के लौटने का इंतजार करने लग। इसी बीच उनको जानकारी हुई कि बीएसए कार्यालय आ गए है। भारी संख्या में शिक्षक दोबारा बीएसए कार्यालय आ गए। बीएसए सत्येंद्र सिंह से वह नियुक्ति पत्र की मांग करने लगे। बीएसए ने बताया कि वह डाक से ही नियुक्ति पत्र भेजेंगे। शिक्षकों ने इस प्रक्रिया में देरी होने की बात कही। 1इस पर उन्होंने बताया कि पत्र स्पीड पोस्ट से भेजा जाएगा। जो दो दिनों में पहुंचेगा। उनके आश्वासन के बाद शिक्षक घर चले गए। बीएसए ने बताया कि शुक्रवार को पूरे दिन शिक्षकों के दस्तावेज की जांच व नियुक्ति पत्र तैयार किया गया है। कल हर हाल में डाक से नियुक्ति पत्र भेज दिया जाएगा।कलेक्ट्रेट में नियुक्ति पत्र के लिए प्रदर्शन करते शिक्षकप्रदर्शन के बाद एडीएम से शिकायत