शिक्षामित्र है पर समायोजन शिक्षक पद पर , पहले समायोजन को मिलेगा फायदा , करीब तीन हजार का होना है समायोजन

सीतापुर। शिक्षामित्रों के समायोजन में भ्रम की स्थिति पैदा हो गई है। शिक्षक पद से समायोजन रद्द होने के बाद शासन ने इन्हें मूल विद्यालय वापस भेजने का निर्णय लिया है।
सचिव ने आदेश जारी करके विद्यालय में रिक्त पद के सापेक्ष इनका समायोजन करने का आदेश दिया है जबकि विद्यालय में शिक्षक के ही रिक्त पद हैं। इससे भ्रम की स्थिति उत्पन्न हो गई है। एक तरफ शिक्षक पद का समायोजन रद्द, दूसरी तरफ शिक्षक के पद पर ही समायोजन होना है। इससे एक तो शिक्षकों के समायोजन में रिक्तियां कम हो जाएंगी। इससे विवाद की स्थिति उत्पन्न हो सकती है।

सुप्रीम कोर्ट ने शिक्षामित्रों का शिक्षक पद पर समायोजन रद्द कर दिया था। इस पर शासन ने इन शिक्षामित्रों को अपने मूल विद्यालय/वर्तमान विद्यालय चुनने का मौका दिया है। महिला शिक्षामित्र अपने ससुराल के पते पर भी जा सकती हैं। बेसिक शिक्षा सचिव संजय सिन्हा ने समायोजन को लेकर बीएसए को निर्देश दिए हैं। जिसके तहत कहा है विद्यालय में कम से कम एक अध्यापक होना अनिवार्य है। उसके बाद रिक्तियों के सापेक्ष शिक्षामित्रों का समायोजन किया जाए। अगर रिक्तियों की बात की जाए तो यहां शिक्षक पद की ही रिक्तियां है। पहले तो इनका शिक्षक पद से समायेाजन रद्द हो चुका है। अब फिर से शिक्षक पद ही समायोजित किया जा रहा है। इसने शिक्षामित्रों में भ्रम की स्थिति उत्पन्न कर दी है। शिक्षामित्रों का कहना है शासन की पॉलिसी समझ में नहीं आ रही है। वहीं विभाग भी पसोपेश में है। विभाग का कहना है आदेश के अनुसार अनुपालन कराया जाएगा। इससे शिक्षक व शिक्षामित्रों में विवाद के हालात उत्पन्न हो सकते हैं। अगर शिक्षामित्रों का पहले शिक्षक पद पर समायोजन कर दिया गया तो शिक्षकों के समायोजन में रिक्तियां कम हो जाएंगी। इससे वे अपनी सीटों की मांग करेंगे। इससे विवाद उत्पन्न हो सकता है।

पहले समायोजन को मिलेगा फायदा : शिक्षक व शिक्षामित्रों दोनों के समायोजन की प्रक्रिया इस समय चल रही है। जिसके पहले समायोजन हो जाएगा उसको फायदा मिलना तय है। अगर शिक्षामित्र का समायोजन हो गया तो वह रिक्तियां के सापेक्ष मनपसंद विद्यालय चुन लेंगे। अगर शिक्षकों का पहले समायोजन हुआ तो उनको फायदा मिलेगा।

करीब तीन हजार का होना है समायोजन : जिले में करीब 2400 शिक्षामित्रों का समायोजन हुआ था। वही करीब 600 महिला असमायोजित शिक्षामित्रों ने ससुराल जाने का आवेदन किया है। इससे करीब तीन हजार शिक्षामित्रो को इधर से उधर किया जाना है। इससे तमाम शिक्षकों के रिक्त पद भर जाएंगे। वहीं जब अगली शिक्षक भर्ती निकलेगी तो यही शिक्षामित्र अपने पद की लड़ाई फिर लड़ने को मजबूर होंगे।

निर्देश का होगा अनुपालन : शासन ने रिक्तियों के सापेक्ष शिक्षामित्रों का समायोजन करने का निर्देश दिया है। इस निर्देश का अनुपालन कराते हुए समायोजन कराया जाएगा। - अजय कुमार, बीएसए