सरकार में पहुँच रखने वाले नेताओं को आम शिक्षामित्रो को जगाते रहना चाहिये

*सरकार में पहुँच रखने वाले नेताओं को आम शिक्षामित्रो को जगाते रहना चाहिये*

देश मे नई शिक्षा नीति आ रही है और सरकार 3 साल से शिक्षामित्रो के लिए बीच का रास्ता खोज रही है रास्ता खोजते-2 लगभग 2200 शिक्षामित्रो की मृत्यु हो गयी लेकिन सरकार अभी तक बीच का रास्ता नही खोज पायी है लेकिन नई शिक्षा नीति में बीच का रास्ता कक्षा 1-2 अलग 3-4-5 अलग अगर 1-2 का समायोजन का रास्ता आंगन बाङी मे कर दिया गया तो आंगनबाड़ी की जिम्मेदारी बढेगी।
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और कक्षा 3-4-5 के लिए सरकार के पास पर्याप्त अध्यापक भी बच जायेगे और कुछ भर्ती गतिमान में भी है शिक्षामित्रो की नियुक्त भी 1-2 के लिए ही मान्य है 
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अगर समय रहते शिक्षामित्र नही जागे तो सरकार बीच के रास्ते से आपको आराम से घर के रास्ते पर न पहुंचा दे बीच का रास्ता यही संकेत कर रहा है। क्योकि कक्षा 1-2 आगनबाङी मे समावेश करना और आंगनबाड़ी को प्रशिक्षण देना और शिक्षामित्रो का नाम न खोलना यह क्या संकेत कर रहा है इस पर सभी बिचार कर पुष्टि करे।
इसलिए सरकार की मंशा पर मंथन सभी को करना चाहिए या नही।           
जय हिन्द जय शिक्षामित्र। C/P