लखनऊ : सूचना के अधिकार कानून के इस्तेमाल से दो महिला शिक्षामित्रों को जहां अध्यापक बनने का अवसर और बकाया भुगतान मिला, वहीं समय से आरटीआइ आवेदन का जवाब न देने वाले बेसिक शिक्षा अधिकारी पर15 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया।
बहराइच निवासी राजवंती देवी व सुनीता देवी ने जनवरी 2013 में आरटीआइ के जरिए खंड शिक्षा अधिकारी, चित्ताैरा से अपने पद और मानदेय के भुगतान से संबंधित छह बिंदुओं की सूचनाएं मांगी थी। सूचना न मिलने पर मामला राज्य सूचना आयोग पहुंचा। सूचना आयुक्त स्वदेश कुमार द्वारा बीएसए पर जुर्माना लगाए जाने के बाद हाजिर हुए अधिकारियों ने बताया कि दोनों शिक्षामित्रों को अध्यापक बनाने के साथ ही बकाया भुगतान भी कर दिया गया है।
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