प्रदेश के शिक्षामित्रों के लिए स्थायी समाधान करे सरकार

लखनऊ (एसएनबी)। सरकार अपने घोषणा पत्र में किए गए वादों को पूरा करे तथा शिक्षामित्रों की समस्याओं का स्थायी समाधान करे। यह मांग रविवार को दारुलशफा में आयोजित दूरस्थ बीटीसी शिक्षक संघ की प्रांतीय बैठक
में संघ के प्रदेश अध्यक्ष अनिल कुमार यादव ने की।बैठक में उन्होंने कहा कि उत्तर प्रदेश में उच्चतम न्यायालय से समायोजन रद्द होने के बाद लाखों शिक्षामित्र लगातार धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं, लेकिन सरकार चुप है। इसके लिए कमेटी भी बनी लेकिन परिणाम शून्य रहा। उन्होंने कहा कि गत डेढ़ वर्ष से शिक्षामित्रों ने जिले से लेकर दिल्ली तक आन्दोलन किया। संघ के पदाधिकारियों ने कई बार मुख्यमंत्री से मिलकर अपनी मांगों को रखा, इस दौरान जो आश्वासन मिला, वह हवाई ही रह गया। संघ ने जन्तर-मंतर पर धरना दिया, मानव संसाधन विकास मंत्रालय के निर्देश पर राज्य सरकार ने कमेटी भी बनाई लेकिन परिणाम शून्य रहा। इसी तरह संघ ने लखनऊ में धरना दिया तथा उप मुख्यमंत्री डा. दिनेश शर्मा की अध्यक्षता में कमेटी बनी, उसका भी नतीजा शून्य है। संघ के वरिष्ठ प्रदेश उपाध्यक्ष रश्मिकान्त द्विवेदी ने कहा कि सरकार शिक्षामित्रों के लिए नया संवर्ग बनाकर उनका स्थायी समाधान करे या शिक्षामित्र पद को ही स्थायी करके सम्मानजनक वेतन देते हुए 62 वर्ष तक शिक्षामित्रों के भविष्य को सुरक्षित करे।संघ के प्रदेश महामंत्री धम्रेन्द्र कुमार व प्रदेश ुपाध्यक्ष संदीप दत्त ने कहा कि समायोजन निरस्त होने से सैकड़ों शिक्षामित्र मौत को गले लगा चुके हैं। हम सरकार से मांग करते हैं कि केन्द्र व राज्य दोनों जगह भाजपा की पूर्ण बहुमत की सरकार है, यथाशीघ्र शिक्षामित्रों के लिए केन्द्र सरकार अध्यादेश लाए तथा अनुसूची नौ में शिक्षामित्रों को शामिल करे। मृतक शिक्षामित्रों के परिवार को मुआवजा व एक सदस्य को नौकरी दे ताकि परिवार का जीविकोपार्जन हो सके। इस अवसर पर संघ के संरक्षक दक्ष यादव, दीपाली निगम, भूमिका सिंह, उबैद अहमद सिद्दीकी, विकास कुमार, महेश संघर्षी, अरुण तोमर, विनय कुमार यादव, विद्या निवास, बृजेश कुमार आदि उपस्थित थे।