नई दिल्ली।
अग्निवीर योजना को लेकर जहां इसके फायदे-नुकसान पर लगातार चर्चा हो रही है, वहीं इसके कुछ स्पष्ट सकारात्मक परिणाम भी सामने आ रहे हैं। खासतौर पर 10वीं के बाद आईटीआई या अन्य तकनीकी डिप्लोमा करने वाले युवाओं को इस योजना के तहत भर्ती में प्राथमिकता मिल रही है।
⚙️ तकनीकी रूप से दक्ष जवानों की जरूरत
दरअसल, तीनों सेनाओं का मानना है कि उन्हें ऐसे जवानों की आवश्यकता है जो तकनीकी रूप से पहले से प्रशिक्षित हों।
सेनाओं के अनुसार—
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थल सेना में लगभग 40% पदों के लिए तकनीकी योग्यता आवश्यक होती है
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वायुसेना और नौसेना में यह आवश्यकता 80% से अधिक है
पहले नियमित भर्ती के दौरान सेना स्वयं जवानों को प्रशिक्षण देती थी, जिसमें लगभग दो वर्ष का समय लगता था। लेकिन अग्निवीरों का कुल कार्यकाल चार वर्ष का होने के कारण, अब पहले से तकनीकी ज्ञान रखने वाले युवाओं को वरीयता दी जा रही है।
डिप्लोमाधारी युवाओं को केवल छह माह का प्रशिक्षण देकर सेना की कार्यप्रणाली से अवगत कराया जा रहा है।
🌍 हर क्षेत्र के युवाओं को मिल रहा अवसर
अग्निवीर योजना के तहत सेनाओं में क्षेत्रीय संतुलन भी बेहतर हुआ है।
पहले—
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नौसेना में दक्षिण भारत के युवाओं की संख्या अधिक होती थी
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उत्तर भारत से अपेक्षाकृत कम भर्ती होती थी
अब स्थिति बदल रही है।
वर्तमान में नौसेना के अग्निवीरों में देश के 671 जिलों के युवा शामिल हो चुके हैं।
🏫 देशभर में भर्ती केंद्र
नौसेना के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार—
“हम चाहते हैं कि देश के हर जिले का प्रतिनिधित्व नौसेना में हो।”
इसके लिए—
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आवेदन प्रक्रिया पूरी तरह ऑनलाइन रखी गई है
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देश के अलग-अलग हिस्सों में भर्ती केंद्र बनाए जा रहे हैं
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यही मॉडल थल सेना और वायुसेना में भी अपनाया जा रहा है
थल सेना में भी दक्षिण भारत के युवाओं की भागीदारी अब पहले की तुलना में बढ़ रही है।
📈 डिप्लोमाधारी युवाओं की रुचि बढ़ी
भर्ती प्रक्रिया से जुड़े अधिकारियों का कहना है कि—
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शुरुआत में डिप्लोमाधारी युवाओं की संख्या कम थी
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अब अग्निवीर योजना को लेकर उनकी रुचि तेजी से बढ़ी है
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तीनों सेनाएं ऐसे युवाओं को आगे भी प्रोत्साहित करती रहेंगी
कम अवधि के कार्यकाल को देखते हुए सेनाएं मानती हैं कि तकनीकी पृष्ठभूमि वाले युवा अग्निवीर योजना के लिए सबसे उपयुक्त हैं।
🔍 मुख्य बातें एक नजर में
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✔ ITI/डिप्लोमा युवाओं को प्राथमिकता
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✔ थल सेना: 40% तकनीकी आवश्यकता
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✔ वायुसेना/नौसेना: 80% से अधिक तकनीकी पद
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✔ 671 जिलों के युवा नौसेना में शामिल
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✔ देशभर में भर्ती केंद्र स्थापित