68500 सहायक अध्यापक भर्ती में रिक्त सीटें भरे जाने के लिए कटऑफ 30-33
के आधार पर परिणाम जारी करने की मांग तेज हो गई है। यह वही कटऑफ है जिसे
शासनादेश के तहत शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा से पहले 21 मई को जारी किया
गया था लेकिन, परिणाम 40-45 फीसद पर तय किया गया। अभ्यर्थी संगठनों ने
मंगलवार को न्याय पद यात्र व जुलूस निकाला।
परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय इलाहाबाद पर गांधी जयंती के अवसर पर
सैकड़ों अभ्यर्थी पहुंचे। वहां से जिलाधिकारी कार्यालय तक न्याय पदयात्र
निकाली। कहा कि उनके साथ धोखा हुआ है। 21 मई को शासनादेश के तहत शिक्षक
भर्ती का कटऑफ जारी किया गया था तो बाद में उसमें बदलाव क्यों हुआ। जिससे
हजारों अभ्यर्थी उत्तीर्ण होने के बावजूद चयन से वंचित हो गए। सरकार से
मांग किया कि भर्ती में अनियमितता के दोषी अफसरों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज
करवाई जाए और कटऑफ 30-33 के आधार पर परिणाम निकाला जाए जिससे रिक्त सीटों
पर योग्य अभ्यर्थियों का चयन हो सके। यहां शनि सिंह ‘तन्हा’, प्रशांत पाल,
अमरेंद्र, अमित यादव समेत अन्य शामिल रहे।
वहीं युवा मंच ने भी शिक्षक भर्ती में व्यापक धांधली का आरोप लगाते हुए
हाईकोर्ट की निगरानी में जांच कराने की मांग की। अध्यक्ष अनिल सिंह के
नेतृत्व में परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय से सुभाष चौराहा सिविल
लाइंस तक जुलूस निकाला। अभ्यर्थियों का कहना है कि 21 मई के शासनादेश के
आधार पर ही 68500 सहायक अध्यापक भर्ती का परिणाम निकाला जाए, जिससे रिक्त
सीटें भरी जा सकें और चयन से वंचित अभ्यर्थियों को राहत मिले। अभ्यर्थियों
ने यह भी कहा कि कापियां जलाई गई हैं, कापियों में छेड़खानी हुई है तो
पुनमरूल्यांकन से कोई समाधान निकलने की बजाए नए विवाद उत्पन्न होंगे। इसलिए
फिर से परीक्षा कराई जाए।
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