झांसी। पांच फर्जी शिक्षक पकड़े जाने के बाद शिक्षा विभाग द्वारा नियुक्ति के मामले में विशेष सतर्कता बरती जा रही है। पिछले छह साल के दरम्यान नियुक्त हुए शिक्षकों के रिकॉर्ड एक बार फिर से खंगालने शुरू कर दिए गए हैं। इस बार उनके नियुक्ति पत्रों के अलावा अन्य सभी प्रमाण पत्रों का भी सत्यापन किया जा रहा है।
जनपद के तीन राजकीय हाईस्कूलों में पांच फर्जी शिक्षक पकड़े जा चुके हैं। इसके बाद से माध्यमिक शिक्षा निदेशालय के निर्देश पर साल 2016 से लेकर अब तक तैनात हुए सभी शिक्षकों का रिकॉर्ड खंगाला जाने लगा है। सामने आया कि इस अवधि में जनपद में 82 शिक्षकों की तैनाती हुई। इनमें से 65 सहायक अध्यापक व पांच प्रवक्ताओं के नियुक्ति पत्र ऑनलाइन विभाग को प्राप्त हुए थे। जबकि, 12 सहायक अध्यापकों के दस्तावेज ऑफलाइन मिले थे। इन सभी का एक बार सत्यापन किया जा चुका है। लेकिन, अब दोबारा से पड़ताल शुरू कर दी गई है। इस बार नियुक्ति पत्रों के अलावा उनके जाति, निवास, आरक्षण व पहचान पत्रों का भी सत्यापन किया जा रहा है। विद्यालयों से लेकर शिक्षा विभाग के कर्मचारियों तक को इस काम में लगाया गया है। अगस्त माह में सभी को अपनी रिपोर्ट सौंपनी होगी।
सत्यापन के बाद दिया जाएगा कार्यभार
झांसी। पांच फर्जी शिक्षक पकड़े जाने के बाद विभाग ने यह तय कर दिया है कि नियुक्ति पत्र व अन्य प्रपत्रों के सत्यापन के बाद ही किसी कर्मचारी या शिक्षक को कार्यभार ग्रहण कराया जाएगा। यह व्यवस्था नवीन नियुक्ति के अलावा स्थानांतरित होकर आने वाले शिक्षक व कर्मचारियों पर भी लागू होगी।
साल 2016 से लेकर अब तक तैनात हुए सभी शिक्षकों के नियुक्ति पत्र व अन्य दस्तावेजों का दोबारा से सत्यापन कराया जा रहा है। इस संबंध में तैनाती वाले विद्यालयों से भी रिपोर्ट तलब की गई है।
- ओपी सिंह, जिला विद्यालय निरीक्षक