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22 फरवरी की अति महत्वपूर्ण सुनवाई के सन्दर्भ में वरिष्ठ अधिवक्ता श्री पी पी राव जी सुनवाई के लिए हायर : एस के पाठक

"22 फरवरी की अति महत्वपूर्ण सुनवाई के सन्दर्भ में"
22 फरवरी की सुनवाई सन्निकट है । टेट मेरिट अपनी सच्चाई और कर्मशीलता के बदौलत सदैव अजेय रही है और अजेय रहेगी ।
मित्रों मुख्यरूप से और सर्वप्रथम सुनवाई लीडिंग सिविल अपील 4347 पर अर्थात 72825 टेट मेरिट पर होगी इसमें रंचमात्र भी संदेह नहीं है ।
आप सभी अवगत ही हैं कि 22 फरवरी की तैयारी के परिप्रेक्ष्य में गत 22 जनवरी को लखनऊ में बैठक आहूत की गयी थी जिसमें एक वरिष्ठ अधिवक्ता पर आम सहमति बनी थी ।
इसी क्रम में कल मोर्चे की टीम ( मैं स्वयं, सर्व श्री गणेश दीक्षित, एवं सर्व श्री राकेश यादव इत्यादि ),दिल्ली में थी । तमाम विचार विमर्श के उपरांत AOR श्रीमती शारदा देवी के माध्यम से सेवा एवं संवैधानिक मामलों के विशेषज्ञ वरिष्ठ अधिवक्ता श्री पी पी राव जी को 22 फरवरी की सुनवाई के लिए हायर किया जा चुका है जिनके एक दिन की फीस पांच लाख पचास हजार रुपये (₹5,50,000 AOR सहित )है ।
चूंकि उस दिन केवल और केवल आपका ही मामला सुनवाई के लिए सूचीबद्ध है इस लिए सुनवाई होने की सम्भावना शत प्रतिशत है ।और 22 को सुनवाई प्रारम्भ होने के पश्चात न्यूनतम दो दिन या फिर तीन दिन सुनवाई चलने की प्रबल सम्भवना भी है ।
ऐसी परिस्थिति में मोर्चे के पास न्यूनतम दो दिन की सुनवाई का बजट अर्थात लगभग 11 लाख रूपये होना अतिआवश्यक है ।
पी पी राव के संदर्भ में कुछ अन्य बातें ........
1 -सेवा एवं संविधान सबंधी मामलों के विशेषज्ञ हैं ।
2 -टॉप 5 वकीलों में गिने जाते हैं ।
3-पूर्व में आपकी तरफ से पैरवी कर चुके और वर्तमान में सुप्रीम कोर्ट के न्यायाधीश श्री यल नागेश्वर राव से भी वरिष्ठ हैं ।
4- हाइकोर्ट में जो स्टेटस अशोक खरे साहब का है वही स्टेटस सुप्रीम कोर्ट में श्री पी पी राव साहब का है ।
5- और सबसे महत्वपूर्ण बात यह की शारदा मैडम के जरिये लगभग 4 बार इस केस में अपीयर हो चुके हैं तथा अपने केस के मूलभूत तथ्यों से सर्वाधिक वाकिफ हैं ।
ये सारी बातें ऐसी है जिनसे स्पष्ट हो जाता है कि 22 की सुनवाई के लिए उपलब्ध विकल्पों में पी पी राव सबसे बेहतर हैं ।उस परिस्थिति में जब मोर्चे के ज्यादातर वकील या तो जज हो चुके हैं या फिर मोदी सरकार के वकील हो चुके हैं ।
वैसे भी मोर्चे ने कभी भी वकील की गुणवत्ता से समझौता नहीं किया है चाहे हाई कोर्ट रहा हो या सुप्रीम कोर्ट ।अत्यंत सीमित संसाधनों के बावजूद भी अशोक खरे ,पी यस पटवालिया,नागेश्वर राव,एवं पी पी राव जैसे वकील किये गए जिनके बदौलत आज लगभग 70000 परिवार सकून की जिंदगी जी रहे हैं ,योग्यता को तरजीह मिली है और प्राथमिक शिक्षा व्यस्था को एक नया कलेवर और नई दिशा मिली है ।इनके साथ साथ और भी बहुत से नाम हैं ।
एक बात और कहनी है आप सभी से ये हमारा आपका संघर्ष और त्याग ही है जो हमको आपको को इस मुकाम तक लेकर आया है ।जरा सा भी आलस्य या प्रमाद साथ निश्चिन्तता हमारे लिए घातक होगी ।क्यों की हमारे शत्रु अनेक हैं जिनसे आप सभी बखूबी परिचित हैं ।बताने की आवश्यकता नहीं है ।
अतः स्वामी विवेकानन्द की यह उक्ति कि-------उठिये ,जागिये और लक्ष्य के प्राप्त होने तक रुकिए मत,को आत्मसात करते हुए युद्ध स्तर पर सभी को एकजुट होकर लगना पड़ेगा । ध्यान रहे कि हमे अंतरिम आदेश को अंतिम आदेश में बदल जाने के पहले कोई विश्राम नहीं करना है ।
चंद पंक्तियाँ अपने विरोधियों को समर्पित....(यद्यपि मैं टेट मोर्चा को एक परिवार मानता हूँ ,किसी को अपना विरोधी नहीं मानता फिर भी जो मुझे अपना जन्मजात विरोधी माने बैठे हैं उनके लिए ).....

सफर में धूप तो होगी,जो चल सको तो चलो ।
सभी है भीड़ में,तुम भी निकल सको तो चलो ।

किसी के वास्ते राहें कहाँ बदलती हैं ..........
तुम अपने आपको खुद ही बदल सको तो चलो ।

यहाँ कोई किसी को रास्ता नहीं देता .......
मुझे गिराकर अगर तुम सँभल सको तो चलो ।

यही है जिंदगी कुछ ख़्वाब चंद उम्मीदें.............
इन्हीं खिलौनों से तुम भी बहल सको तो चलो ।

आप सभी के प्यार एवम आशीर्वाद की आकांक्षा के साथ
आपका
एस के पाठक
टेट मोर्चा उत्तरप्रदेश
9415023170
व्हाट्सअप no 9415540270
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