शिक्षामित्र निश्चित रूप से अयोग्य , अंतिम परिणाम बुधवार से प्रारम्भ हो रही समर वेकेसन से पहले : मयंक तिवारी

राम राम साथियो, आज हुई सुनवाई में बहस करने के अनुसार यदि देखा जाये तो आज का दिन जरूर शिक्षामित्रों के सीनियर एडवोकेट्स के नाम रहा लेकिन इसका 1% लाभ भी उनको नही मिला।

शिक्षामित्रों की तरफ से आज सुप्रीम कोर्ट के सबसे बुजुर्ग व् वरिष्ठतम एडवोकेट्स में से एक रामजेठ मलानी जी, शांति भूषण जी, कुछ देर के लिए आर वेंकट रमणी जी ने बहस की।
शिक्षामित्रों की तरफ से आज सबसे पहले दलील दी गयी कि यदि कोर्ट केंद्र सरकार और राज्य सरकार को कुछ समय दे तो वह मिलकर इनके समाधान का कोई रास्ता निकाल सकती है और तब तक के लिए केस एड्जर्न कर दिया जाये लेकिन कोर्ट ने स्पस्ट रूप से मना कर दिया और कहा अब कोई समय नही दिया जायेगा आप अपना संवैधानिक रूप से पक्ष रखिये। रामजेठ मलानी जी ने कई तर्कों को रखकर कोर्ट को बहुत देर तक गुमराह करने की कोशिश की लेकिन दोनों जज मुश्कराते हुए उन्हें सुनते रहे। इसके बाद शांति भूषण जी ने प्रारम्भ किया और फिर कुछ देर में ही लंच हो गया। लंच के बाद कोर्ट पुनः बैठी तो शांति भूषण जी ने कहा कि हाइकोर्ट ने इतनी बड़ी संख्या में शिक्षामित्रों को बाहर निकाल दिया किन्तु कोई पब्लिक नोटिस नही दिया गया। किसी को यूँ बिना बताए नही निकाला जा सकता है। इसके अतिरिक्त भी शिक्षामित्रों के वरिष्ठतम सीनियर्स द्वारा अनेकानेक तर्क प्रस्तुत किये लेकिन कोर्ट को जस्टिस डी बाई चन्द्रचूड़ जी के आदेश से इधर उधर नही कर पाए।
साथियों चूँकि शिक्षामित्र और सरकार 12सितम्बर 2015 के परमाणु बम्ब विस्फोट जैसे आदेश में सुप्रीम कोर्ट में पिटीशनर है अतः आज कोर्ट ने पुनः उन्हें पूरा मौका दिया। वर्तमान पीठ के दोनों जस्टिस ने आज की पूरी बहस का खूब आनंद भी लिया। आज इतनी बहस ने एक बार कोर्ट के सामने पुनः स्पष्ठ कर दी कि शिक्षामित्र निश्चित रूप से अयोग्य है और बड़े बड़े वकीलों की सहायता से सिर्फ कोर्ट का समय नष्ट करना चाह रहे है और किसी भी तरह से केस को समर वेकेसन के बाद ले जाना चाहते है और फिर बैंच को बदलवाना लेकिन कोर्ट भी पूरी तरह से तैयार है और पूरा मौका भी दे रही है ताकि कोई ये ना कह सके कि हमें बोलने नही दिया गया और अंत में उन्होंने स्पस्ट भी कर दिया कि शुक्रवार, सोमवार, और मंगलवार को आफ्टर लंच (2बजे से 4बजे तक) कोर्ट पुनः सुनवाई करेगी लेकिन अंतिम परिणाम बुधवार से प्रारम्भ हो रही समर वेकेसन से पहले कर देगी।
साथियो, आज हमारी तरफ से शिक्षामित्रों के विरुद्ध सीनियर हीरेन पी रावल जी, पिछली सुनवाई पर RTE एक्ट के लागू होने पर भी योग्य बीएड-टेट पास अभ्यर्थियों के लिए चयन हेतु WP244/2016 को कोर्ट रूम में नोटिस कराने वाले सीनियर के वेणुगोपाल जी तथा 24फरबरी, 24अगस्त, व् 17नवम्बर के आदेशों के अनुपालन हेतु सीनियर विभा मखीजा जी कोर्ट रूम में उपस्थित रहीं। आज सुनवाई बाद एक विशेष बात ओर रही जब सीनियर एडवोकेट सलमान खुर्शीद जी कोर्ट रूम से बाहर आ रहे थे तो कई शिक्षामित्र उनके पीछे-पीछे चल रहे थे और सुनवाई के हाल-चाल पूछ रहे थे। जिस समय वो मेरे करीब से निकल रहे थे तो बोले कि आज का दिन तो हमने मिलकर निकाल दिया है लेकिन एक बात जान लो कि TET से आपको किसी भी प्रकार की कोई छूट नही मिल पाएगी।
साथियो, कोर्ट के रूख से भी स्पस्ट है कि वह योग्यता और मानक से किसी भी प्रकार का कोई समझौता करने नही जा रही है और निश्चित रूप से अधिकार से वंचित योग्य अभ्यर्थियों की नियुक्ति के द्वार भी खोलने जा रही है सिर्फ आवश्यकता है अंत तक मैदान में डटे रहने की और इसके लिए हमें आपसे आर्थिक सहयोग की नितान्त आवश्यकता है। हमने अपनी पूरी शक्ति और ऊर्जा लगाई हुई है आप भी अपने हित के लिए अपने हिस्से का योगदान अवश्य करें।
पिछले एक वर्ष से अधिक समय में हमने हमेशा सहयोग के लिए मना किया है और जहाँ भी अनावश्यक आपका आर्थिक शोषण हुआ है उसका खुलकर विरोध भी किया है। यहाँ तक की कई चोरों के पैसा लेकर टीम से अलग होने पर भी उसका अतिरिक्त बोझ आप पर नही पड़ने दिया है किंतु अब सहयोग की नितान्त आवश्यकता है। अतः अपना बहुमूल्य योगदान निंमवत अकाउंट में से किसी भी अकाउंट में सहयोग अवश्य करें।धन्यबाद
संघर्ष के प्रथम दिवस से आपके साथ
आपका मयंक तिवारी
बीएड/टेट उत्तीर्ण संघर्ष मोर्चा
उत्तर प्रदेश
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