Ticker

6/recent/ticker-posts

Ad Code

68500 शिक्षक भर्ती: बार कोडिंग की खामी और अंकों की हेराफेरी, कई सवालों का जवाब नहीं दे सके अफसर: शासन को रिपोर्ट जल्द

इलाहाबाद : शिक्षक भर्ती की लिखित परीक्षा में शामिल होने वाले एक अभ्यर्थी को सोमवार को कॉपी मुहैया कराई गई। उसे रिजल्ट में 66 अंक मिले थे, कॉपी पर भी इतने ही अंक दर्ज मिले लेकिन, दो प्रश्नों में दिया गया एक-एक अंक कुल अंकों में जुड़ा नहीं था।
इससे वह अनुत्तीर्ण हो गया। यदि ये अंक सही से जोड़ दिए गए होते तो वह उत्तीर्ण होता।

68500 शिक्षक भर्ती परिणाम में ऐसी ही खामी हर उत्तर पुस्तिका के साथ सामने आ रही है। अब तक एक भी ऐसी कॉपी सामने नहीं आ सकी है, जिसका मूल्यांकन यानि प्रश्नों को अंक देने में खामी उजागर हुई हो। अधिकांश प्रकरणों में अंक दर्ज करने, उन्हें जोड़ने और अंकों को दूसरे के खाते में दर्ज करने की ही जमकर गड़बड़ी हुई है। इसके पहले जिन अभ्यर्थियों को कोर्ट के आदेश पर कॉपी मुहैया कराई गई वह चाहे अंकित वर्मा हो या मनोज कुमार भले ही रिजल्ट में मिले अंकों से असंतुष्ट रहे हैं लेकिन, कॉपी पर दर्ज अंकों पर अभी तक सवाल नहीं किया है। सब्जेक्टिव परीक्षा में तेजी से हुए मूल्यांकन में भी कॉपियों की जांच काफी हद तक सही मानी जा रही है लेकिन, अंकों की हेराफेरी रिजल्ट को कटघरे में खड़ा कर रहा है। इसमें अभ्यर्थी की पहचान छिपाने के लिए बार कोडिंग प्रक्रिया भी पारदर्शिता की जगह गड़बड़ी को बढ़ाने में ही सहायक बनी है। सूत्रों की मानें तो अंकों की इसी हेराफेरी ने बिना परीक्षा में बैठने वालों को उत्तीर्ण किया और अनुत्तीर्ण होने वाले चयनित सूची में शामिल होने में सफल रहे। भले ही उन्हें नियुक्ति पत्र मिलने से पहले खामी पकड़ में आ गई लेकिन, इस प्रक्रिया से पूरी भर्ती कलंकित हो गई। इसमें भले ही कार्यदायी एजेंसी या फिर शिक्षकों ने अंक चढ़ाने में गलती की हो लेकिन, इसे मानवीय भूल कहकर माफ भी नहीं किया जा सकता। बल्कि ये प्रकरण अन्य भर्ती संस्थाओं के लिए बड़े सबक की तरह हैं।

Post a Comment

0 Comments

latest updates

latest updates

Random Posts