पटना [जेएनएन]। राजधानी के गांधी मैदान के पास स्थित एक नामी मिशनरी स्कूल की दो महिला टीचर एलकेजी में पढ़ने वाली एक छह साल की मासूम बच्ची को एकांत रूम में ले जाती और दरवाजा बंद कर उसके प्राइवेट पार्ट में नुकीली चीजें चुभोती थी।
एेसा करने में उन्हें मजा आता था और जब बच्ची चीखती थी तो उसका मुंह बंद कर देती थीं।
छह साल की बच्ची कुछ दिनों से यह असहनीय पीड़ा चुपचाप सहती रही थी लेकिन डर के मारे किसी को बताती नहीं थी। गुमसुम सी रहने वाली बच्ची ने यह बात अपनी मां को भी नहीं बताई। लेकिन वह स्कूल जाने के नाम से ही कांप जाती थी और रोने लगती थी।
एक दिन मां ने नन्ही-सी जान के कमर को छुआ तो बच्ची दर्द से तड़प उठी। जब मां ने उसके कपड़े उतारे तो उसके प्राइवेट पार्ट्स में जख्म के निशान को देखकर सिहर उठी। तब अपनी बेटी के साथ स्कूल में हो रही क्रूरता का राज खुल गया। पुलिस ने मामले की जांच में दोषी पाई गईं दोनों आरोपी शिक्षिकाओं को गिरफ्तार कर लिया है।
महिला टीचर्स की दरिंदगी हुई उजागर
मिली जानकारी के मुताबिक महिला टीचरों की दरिंदगी का शिकार हुई बच्ची कुछ दिनों से गुमसुम रहती थी।
स्कूल जाने के नाम से वह डर जाती थी। दिन-प्रतिदिन उसकी हालत खराब होती जा रही थी। 27 अक्टूबर को वह अचानक लड़खड़ाकर गिर गई। बच्ची की मां ने जब कपड़े बदलने के लिए बच्ची की कमर और पीठ पर हाथ रखा तो वह दर्द से कराह उठी और जोर-जोर से रोने लगी।
मां ने बच्ची के कपड़े उतारे तो भेद खुला
मां ने जब बच्ची के कपड़े उतारे तो उसके होश उड़ गए। कपड़े को खोलते ही पूरा मामला साफ हो गया। बच्ची के प्राइवेट पार्ट में लगे जख्म उसके साथ हुए दरिंदगी की कहानी बयां कर रहे थे। बच्ची के परिजनों का आरोप है कि दोनों महिला टीचर उसके साथ अप्राकृतिक यौनाचार करती थी।
घटना की एफआइआर दर्ज
बच्ची के साथ हुई दरिंदगी की शिकायत लेकर माता-पिता स्कूल गए, लेकिन वहां किसी ने उनकी बात नहीं सुनी। स्कूल प्रबंधन ने इस मामले में कुछ भी बोलने से इंकार कर दिया और कहा- गो टू पुलिस। गुरुवार की रात लगभग 10:30 बजे महिला थाने में पॉक्सो एक्ट के तहत महिला शिक्षिकाओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर लिया गया।
पुलिस जांच आरंभ, आराेपी गिरफ्तार
पुलिस ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है। सिटी एसपी चंदन कुशवाहा ने कहा कि दोनों आरोपी शिक्षकों को गिरफ्तार कर लिया गया है। शिक्षकों की पहचान बच्ची के माता-पिता से मिली तस्वीरों से की गई। बच्ची टीचर का नाम नहीं बता पा रही थी। वह उन्हें बड़ी मैम और छोटी मैम कहती है।
बच्ची के प्राइवेट पार्ट में नुकीली चीजें चुभोती थी टीचर
पीड़ित बच्ची के माता-पिता ने पुलिस को बताया कि बेटी के प्राइवेट पार्ट में गहरे जख्म हैं। दोनों महिला टीचर उसके नाजुक अंग में नुकीली चीजें चुभाती थी। क्लास के बाद बच्ची को आराम करवाने के बहाने दोनों टीचर उसे लेकर रेस्ट रूम में ले जाती थी। यहां बच्ची को पोर्टेबल बेड पर लिटा कर उसके साथ अप्राकृतिक यौनाचार किया जाता था।
दर्द से चीखती तो मुंह कर देती थीं बंद
इस दौरान बच्ची दर्द से चीखती तो टीचर उसका मुंह को बंद कर देती थी ताकि आवाज रूम से बाहर न जा सके। दोनों ने बच्ची को धमकी दे रखी थी कि किसी से इस बात की जिक्र न करे कि उसके साथ स्कूल में क्या होता है। टीचर के डर से बच्ची ने मां को भी अपने साथ हो रही क्रूरता की जानकारी नहीं दी।
बच्ची के नाजुक अंग में लगातार दर्द रहने लगा, जिसके चलते वह कमजोर होती जा रही थी। बच्ची की मेडिकल जांच की गई। प्रारंभिक रिपोर्ट में अंदरूनी हिस्सों में गहरे जख्म के निशान बताए गए हैं।
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एेसा करने में उन्हें मजा आता था और जब बच्ची चीखती थी तो उसका मुंह बंद कर देती थीं।
छह साल की बच्ची कुछ दिनों से यह असहनीय पीड़ा चुपचाप सहती रही थी लेकिन डर के मारे किसी को बताती नहीं थी। गुमसुम सी रहने वाली बच्ची ने यह बात अपनी मां को भी नहीं बताई। लेकिन वह स्कूल जाने के नाम से ही कांप जाती थी और रोने लगती थी।
एक दिन मां ने नन्ही-सी जान के कमर को छुआ तो बच्ची दर्द से तड़प उठी। जब मां ने उसके कपड़े उतारे तो उसके प्राइवेट पार्ट्स में जख्म के निशान को देखकर सिहर उठी। तब अपनी बेटी के साथ स्कूल में हो रही क्रूरता का राज खुल गया। पुलिस ने मामले की जांच में दोषी पाई गईं दोनों आरोपी शिक्षिकाओं को गिरफ्तार कर लिया है।
महिला टीचर्स की दरिंदगी हुई उजागर
मिली जानकारी के मुताबिक महिला टीचरों की दरिंदगी का शिकार हुई बच्ची कुछ दिनों से गुमसुम रहती थी।
स्कूल जाने के नाम से वह डर जाती थी। दिन-प्रतिदिन उसकी हालत खराब होती जा रही थी। 27 अक्टूबर को वह अचानक लड़खड़ाकर गिर गई। बच्ची की मां ने जब कपड़े बदलने के लिए बच्ची की कमर और पीठ पर हाथ रखा तो वह दर्द से कराह उठी और जोर-जोर से रोने लगी।
मां ने बच्ची के कपड़े उतारे तो भेद खुला
मां ने जब बच्ची के कपड़े उतारे तो उसके होश उड़ गए। कपड़े को खोलते ही पूरा मामला साफ हो गया। बच्ची के प्राइवेट पार्ट में लगे जख्म उसके साथ हुए दरिंदगी की कहानी बयां कर रहे थे। बच्ची के परिजनों का आरोप है कि दोनों महिला टीचर उसके साथ अप्राकृतिक यौनाचार करती थी।
घटना की एफआइआर दर्ज
बच्ची के साथ हुई दरिंदगी की शिकायत लेकर माता-पिता स्कूल गए, लेकिन वहां किसी ने उनकी बात नहीं सुनी। स्कूल प्रबंधन ने इस मामले में कुछ भी बोलने से इंकार कर दिया और कहा- गो टू पुलिस। गुरुवार की रात लगभग 10:30 बजे महिला थाने में पॉक्सो एक्ट के तहत महिला शिक्षिकाओं के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर लिया गया।
पुलिस जांच आरंभ, आराेपी गिरफ्तार
पुलिस ने इस मामले में जांच शुरू कर दी है। सिटी एसपी चंदन कुशवाहा ने कहा कि दोनों आरोपी शिक्षकों को गिरफ्तार कर लिया गया है। शिक्षकों की पहचान बच्ची के माता-पिता से मिली तस्वीरों से की गई। बच्ची टीचर का नाम नहीं बता पा रही थी। वह उन्हें बड़ी मैम और छोटी मैम कहती है।
बच्ची के प्राइवेट पार्ट में नुकीली चीजें चुभोती थी टीचर
पीड़ित बच्ची के माता-पिता ने पुलिस को बताया कि बेटी के प्राइवेट पार्ट में गहरे जख्म हैं। दोनों महिला टीचर उसके नाजुक अंग में नुकीली चीजें चुभाती थी। क्लास के बाद बच्ची को आराम करवाने के बहाने दोनों टीचर उसे लेकर रेस्ट रूम में ले जाती थी। यहां बच्ची को पोर्टेबल बेड पर लिटा कर उसके साथ अप्राकृतिक यौनाचार किया जाता था।
दर्द से चीखती तो मुंह कर देती थीं बंद
इस दौरान बच्ची दर्द से चीखती तो टीचर उसका मुंह को बंद कर देती थी ताकि आवाज रूम से बाहर न जा सके। दोनों ने बच्ची को धमकी दे रखी थी कि किसी से इस बात की जिक्र न करे कि उसके साथ स्कूल में क्या होता है। टीचर के डर से बच्ची ने मां को भी अपने साथ हो रही क्रूरता की जानकारी नहीं दी।
बच्ची के नाजुक अंग में लगातार दर्द रहने लगा, जिसके चलते वह कमजोर होती जा रही थी। बच्ची की मेडिकल जांच की गई। प्रारंभिक रिपोर्ट में अंदरूनी हिस्सों में गहरे जख्म के निशान बताए गए हैं।
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