राज्य सरकार शिक्षामित्रों को एक और भर्ती में मौका देगी। हालांकि सुप्रीम कोर्ट ने 2017 में शिक्षामित्रों का समायोजन रद्द करते हुए उन्हें दो लगातार भर्तियों में मौका देने का फैसला सुनाया था। इसके बाद सरकार 68500 व 69000 शिक्षक भर्ती में शिक्षामित्रों को मौका दे चुकी है। लेकिन अब सरकार एक और भर्ती में मौका देगी। प्रदेश में लगभग 1.60 लाख शिक्षामित्र हैं।
पहले भी दो भर्तियों में मिल चुका है मौका
वर्ष 2017 में जब सुप्रीम कोर्ट ने शिक्षामित्रों का सहायक अध्यापक के पदों पर से समायोजन रद्द कर दिया था, तब सरकार को शिक्षामित्रों को कुछ छूट देते हुए अगली दो भर्तियों में मौका देने के निर्देश दिए थे। राज्य सरकार ने शिक्षामित्रों को भर्ती में कुछ छूट देने का फैसला किया था।
इसमें आयु सीमा में छूट देते हुए सेवानिवृत्ति की आयु तक नियुक्ति का प्राविधान बनाया, वहीं प्रति वर्ष की सेवा का ढाई अंक (अधिकतम 25 अंक) का भारांक तय किया गया था यानी मेरिट में अधिकतम 25 अंक भारांक के रूप में जोड़े जा सकते हैं। 68500 शिक्षक भर्ती में 7224 और 69000 शिक्षक भर्ती में 8018 शिक्षामित्र लिखित परीक्षा में सफल हुए थे। इसके बाद मेरिट में इनके शैक्षिक गुणांक में भारांक जोड़ कर चयन सूची में शामिल किया गया।
बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री डाक्टर सतीश चंद्र द्विवेदी का कहना है कि सर्वोच्च न्यायालय के फैसले का स्वागत है। शिक्षामित्र निराश न हो। अगली जो भी शिक्षक भर्ती होगी उसमें हम शिक्षामित्रों को मौका देंगे।
आदर्श शिक्षामित्र वेलफेयर एसोसिएशन प्रदेश अध्यक्ष जितेंद्र शाही ने कहा कि एक और भर्ती में शिक्षामित्रों को मौका देने के फैसले का स्वागत है। शिक्षामित्रों हतोत्साहित न हो। सरकार से वार्ता कर बीच का रास्ता निकालने का प्रयास किया जाएगा जिससे शिक्षामित्रों का भविष्य बर्बाद न हो।