सात शिक्षकों की डिग्री फर्जी : एसआइटी जांच में सामने आया मामला, नोटिस जारी, वर्ष 2007-11 के बीच बीएड करने वाले शिक्षकों की हो रही जांच

जागरण संवाददाता, मैनपुरी: फर्जी बीएड डिग्री की विशेष जांच दल (एसआइटी) की ओर से की जा रही जांच के दौरान सात शिक्षक संदेह के घेरे में आ गए हैं हैं। सातों की डिग्री संदिग्ध मिलने पर शिक्षकों को नोटिस जारी
किया है।
डॉ. बीआर अंबेडकर विश्वविद्यालय आगरा से वर्ष 2007 से 2011 के बीच बीए, बीएससी और बीएड की डिग्री हासिल कर नौकरी कर रहे शिक्षकों की एसआइटी जांच एक साल से चल रही हैं। जिले में भी एसआइटी ने दो माह पहले शिक्षकों का डाटा मांगा था।

इसमें विभाग ने वर्ष 2007-11 के बीच आगरा विश्वविद्यालय से बीएड व अन्य डिग्री हासिल करने वाले 301 शिक्षकों का डाटा, सीडी और हार्ड कॉपी एसआइटी को उपलब्ध करा दी। एसआइटी की गहनता से चल रही जांच में प्रथम दृष्टया सात शिक्षकों की डिग्री संदिग्ध मिली हैं। इन्हें नोटिस जारी कर एक सप्ताह के अंदर अपने दस्तावेजों सहित एसआइटी के समक्ष पक्ष रखने के निर्देश दिए हैं। एसआइटी ने वर्ष 2009 में नियुक्त शिक्षक दिनेश चंद्र, सर्वेश सिंह, अनिल कुमार, तबस्सुम वसीम, मिथलेश कुमारी, सुनीता शाक्य और चंद्रपाल सिंह को नोटिस दिया है। इसमें से शिक्षिका मिथलेश कुमारी का तबादला फीरोजाबाद हो गया। शेष छह शिक्षक जिले के विभिन्न प्राथमिक और कन्या प्राथमिक विद्यालयों में बतौर सहायक अध्यापक कार्यरत हैं। प्रभारी बीएसए भारत शाक्य के अनुसार एसआइटी ने सात शिक्षकों को नोटिस दिया है।
उन्हें एसआइटी के समक्ष अपने दस्तावेज दिखाने होंगे। दस्तावेजों में क्या गड़बड़ी है, इस बात की जानकारी मुङो नहीं है।
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