शिक्षक भर्ती के मूल सूची में नहीं मिले कमेटी के हस्ताक्षर

 बाराबंकी : बेसिक शिक्षा कार्यालय में शिक्षक भर्ती में फर्जीवाड़े की जांच शुरू हो गई है। शनिवार को गठित टीम बीएसए कार्यालय पहुंची और शिक्षक भर्ती की पत्रावलियां खंगाली। जांच अधिकारी एडीएम ने पाया कि भर्ती के मूल सूची में कमेटी के हस्ताक्षर नहीं है। एक घंटे तक जांच पड़ताल की।

बेसिक शिक्षा विभाग में 12460 शिक्षक भर्ती पर मई माह में जिले के 287 पद रिक्त थे, जिसके सापेक्ष 198 शिक्षकों की भर्ती की गई थी। शिक्षक भर्ती में अनियमितताओं को लेकर अपर मुख्य सचिव ने जांच के आदेश दिए। आरोप था कि डीएलएड और बीएलएड में तमाम तरीके से फर्जीवाड़ा हुआ है। किसी ने टेट का फर्जी प्रमाण पत्र लगाया है तो किसी का प्रशिक्षण कॉलेज ही अवैध है। मेरिट गुणांक को बढ़ाने के लिए पूर्णांकों को भी कम कर दिया, जिसकी सत्यापन के समय जांच भी नहीं होती है और ऐसे अभ्यर्थी बच निकलते हैं। निकाली गई कटऑफ में भी फर्जीवाड़ा किया गया है। जिलाधिकारी ने तीन सदस्यीय टीम गठित कर दी, जिसमें एडीएम संदीप गुप्ता, अपर पुलिस अधीक्षक और सहायक बेसिक शिक्षा निदेशक रवींद्र कुमार हैं। शनिवार को शिक्षक भर्ती की जांच के लिए एडीएम और एडी बेसिक जिला बेसिक शिक्षा कार्यालय पर पहुंचे। यहां पत्रावलियां मंगाई। एडीएम ने देखा कि शिक्षक भर्ती के मूल सूची पर कमेटी के हस्ताक्षर नहीं हैं। जब शिक्षक भर्ती होती है तो जिलाधिकारी द्वारा नामित कमेटी शासन से आई मूल सूची पर हस्ताक्षर कर सत्यापन करते हैं, लेकिन ऐसा हुआ ही नहीं था। इनसेट : पूर्व में रोका गया था वेतन


बीएसए वीपी ¨सह ने बताया कि 12460 शिक्षक भर्ती से जिले में 198 शिक्षकों की नियुक्ति हुई थी। नियुक्ति के बाद से शिक्षकों का वेतन नहीं दिया गया है। जांच के बाद भी वेतन दिया जाएगा। बीएसए कार्यालय पहुंचकर जांच की गई है। मूल सूची में कमेटी के हस्ताक्षर नहीं मिले हैं। अभी जांच पूरी नहीं हुई है। ''संदीप गुप्ता, अपर जिलाधिकारी, बाराबंकी।