राज्य ब्यूरो, नई दिल्ली : दिल्ली सरकार की शिक्षा नीति को लेकर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष अजय माकन ने सरकार से श्वेतपत्र जारी करने की मांग की है। उन्होंने कहा है कि सरकार अपनी शिक्षा नीति को उजागर करे।
उन्होंने कहा कि शिक्षा नीति में बदलाव से पहले विशेषज्ञों व उससे प्रभावित वर्गो से भी परामर्श लिया जाना चाहिए। प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में माकन ने कहा कि सरकार ने इस वर्ष के बजट को लेकर अपनी पीठ थपथपाई है। उन्होंने शिक्षा के बजट को दोगुना करके106 प्रतिशत कर दिया है, जबकि रिवाइज एस्टीमेट के हिसाब से 10.78 करोड़ रुपये लैप्स हो गए और केवल 22 से 23 प्रतिशत ही राशि खर्च हो पाई। माकन ने बताया कि शिक्षा व्यवस्था को लेकर 6 अगस्त को प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में शिक्षा के क्षेत्र के विशेषज्ञों व एक्टीविस्टों को लेकर सेमिनार का आयोजन किया गया था। इसमें सरकार की ओर से शिक्षा को लेकर किए गए एकतरफा व अपारदर्शी बदलावों पर विस्तृत चर्चा हुई। इस चर्चा में दिल्ली की पूर्व शिक्षा मंत्री डॉ.किरण वालिया, डीयू की प्रोफेसर पूनम बत्र, जामिया मिलिया इस्लामिया से अनीता रामपाल जानकी राजन (जामिया मिलिया इस्लामिया) व नेशनल फोरम आफ आरटीआइ के संयोजक अंबरीश राय भी उपस्थित थे।
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उन्होंने कहा कि शिक्षा नीति में बदलाव से पहले विशेषज्ञों व उससे प्रभावित वर्गो से भी परामर्श लिया जाना चाहिए। प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में आयोजित प्रेस वार्ता में माकन ने कहा कि सरकार ने इस वर्ष के बजट को लेकर अपनी पीठ थपथपाई है। उन्होंने शिक्षा के बजट को दोगुना करके106 प्रतिशत कर दिया है, जबकि रिवाइज एस्टीमेट के हिसाब से 10.78 करोड़ रुपये लैप्स हो गए और केवल 22 से 23 प्रतिशत ही राशि खर्च हो पाई। माकन ने बताया कि शिक्षा व्यवस्था को लेकर 6 अगस्त को प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में शिक्षा के क्षेत्र के विशेषज्ञों व एक्टीविस्टों को लेकर सेमिनार का आयोजन किया गया था। इसमें सरकार की ओर से शिक्षा को लेकर किए गए एकतरफा व अपारदर्शी बदलावों पर विस्तृत चर्चा हुई। इस चर्चा में दिल्ली की पूर्व शिक्षा मंत्री डॉ.किरण वालिया, डीयू की प्रोफेसर पूनम बत्र, जामिया मिलिया इस्लामिया से अनीता रामपाल जानकी राजन (जामिया मिलिया इस्लामिया) व नेशनल फोरम आफ आरटीआइ के संयोजक अंबरीश राय भी उपस्थित थे।
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