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शिक्षामित्र कल की सुप्रीमकोर्ट की सुनवाई से व्यथित भी है और क्रोधित भी: जानिए क्यों ??

सबसे पहले सभी पैरवी कर्ताओं को नमस्कार। आगे वृतांत इस प्रकार है कि आम sm आज की सुनवाई से व्यथित भी है और क्रोधित भी और ऐसा होना स्वाभाविक भी है लेकिन किसी आम sm ने सोचा की पैरवी कर्ताओं के दिल पर क्या बीत रही है।
जो इंसान इतनी ठण्ड में अपने परिवार को छोड़कर सिर्फ शिक्षामित्र हित में वकीलों और कोर्ट के चक्कर लगा रहा है उसको आज की सुनवाई से कितनी निराशा हुई होगी।
आज की सुनवाई में शिक्षामित्रों के लिए बहुत कुछ नेगेटिव है लेकिन उससे कहीं ज्यादा अगर आप देखें तो आज की सुनवाई ने हमारे सामने सम्भावनाएं भी पैदा की हैं।
*टैटुओं ने झूट बोला कि जुलाई 2015 में स्टे होने के बाद यूपी gov ने शिक्षामित्रों की नियुक्ति की है इसबात की सच्चाई को 9 जनवरी को कोर्ट के सामने रखकर जोर शोर से जज साहब के माइंड में ये बात डालने की कोशिश करें कि टैटुओं के वकील कोर्ट को गुमराह कर रहे हैं और सरकार का हलफनामे के मायने बहुत बड़े होते हैं।*
दूसरी बात ये है कि *यादि शिक्षामित्रों का शैक्षिक विवरण का डाटा माँगा गया है तो सरकार अगर डेटा देती है तो उस पॉइंट को भी बढ़ा चढ़ाकर प्रस्तुत किया जाए कि सभी शिक्षामित्र ग्रेजुएट और btc हैं।*
नॉन टेट परेशान ना हों सरकार टेट का डेटा नहीं देगी।
@@@ *एक बात कहना चाहता हूँ कि पत्थर हथोड़े की अंतिम चोट से टूटता है लेकिन उस अंतिम चोट से पहले पड़ने वाली चोटें निरर्थक नहीं होती और ना ही हथौड़ा या हथौड़ा मारने वाला ही जानता है कि कौन सी चोट पत्थर की अंतिम चोट होगी*
सभी पैरवी कर्ताओं से कहना है कि आज की सुनवाई से निराश ना हों और ये ना सोचें कि सुनवाई से पहले की तैयारी बेकार रही बल्कि नयी उम्मीद के साथ ऐसे ही लगन के साथ तैयारी में जुटे रहें।
आज अगर बोलने का मौका नहीं मिला तो इसका ये मतलब नहीं है कि मौका नहीं मिलेगा।
मौका भी मिलेगा और चौका भी लगेगा बस ऐसे ही लगन के साथ तैयारी करते रहें।
*सभी आम शिक्षामित्रों से कहना चाहता हूँ कि आज हमारे नेताओं को हमारे द्वारा दी जाने वाली गाली और प्रताड़ना की जरूरत नही बल्कि हमारे प्यार सहयोग और विश्वाश की जरूरत है कठिन समय है विश्वाश और सहयोग बनाये रखें*
ये ही वे लोग हैं जिनके वजह से आज हम 32000 पा रहे हैं और यही वे लोग हैं जो आगे भी कहीं ना कहीं हमारी उम्मीद को जीवित रखे हुए हैं।
*अंत में सभी संघ और सभी टीम के पदाधिकारियों को कहना है कि हम सब आपको कुछ भी कहें लेकिन हम 172000 आपके साथ थे साथ हैं और साथ रहेंगे आप लोग संघर्ष करते रहें और निराश ना हों*
आज की सुनवाई में प्रयास करने वाले सभी पैरवी कर्ताओं को बहुत बहुत साधुवाद।
मैं uppsms का एक बहुत छोटा सा कार्यकर्ता हूँ लेकिन मेरी आदत किसी दूसरे संघ या टीम पर निरर्थक ऊँगली उठाने या आरोप लगाने की नहीं है क्योंकि मैं शहद वाली मक्खी बनना चाहता हूँ जो फलों में से अपने काम का शहद बनाकर मानव सेवा में लगती है ना कि ऐसी देसी मक्खी जो सारी खूबसूरत चीजों को छोड़कर सिर्फ गन्दी चीजों पर जाकर बैठती है।
*किसी को कोई बात बुरी लगी हो तो दिल पर जरूर लें।*
*जागरूक शि0मित्र*
*उत्तर प्रदेश*
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