प्रयागराज : जिले के कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में तैनात छह शिक्षिकाओं ने अब तक अपने मूल प्रपत्र नहीं जमा किए। इसके अलावा एक चौकीदार ने भी अपने शैक्षिक अभिलेख व आयु संबंधी प्रमाण पत्र नहीं जमा किए। ऐसे में कुल सात लोग संदेह के घेरे में हैं।
अनामिका प्रकरण उजागर होने के बाद समूचे प्रदेश में खलबली मची है। सभी कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में नियुक्त शिक्षिकाओं और कर्मचारियों के मूल शैक्षिक अभिलेख व प्रमाण पत्रों की जांच शुरू की गई। इसके लिए सभी 242 शिक्षिकाओं व कर्मचारियों को नोटिस भेजकर मूल प्रमाण पत्र मंगवाए गए। बीएसए ने निर्देश दिया था कि 19 जून तक शिक्षिकाएं और कर्मचारी प्रमाण पत्र जमा कर दें लेकिन, अब भी सात लोग ऐसे हैं जिन्होंने मूल प्रमाण पत्र जमा नहीं किए। इसमें कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय मऊआइमा के चौकीदार राम मोहन, प्रतापपुर की सुचेता देवी, शंकरगढ़ की शफक महजबीन और लक्ष्मी सिंह, उरुवा के संतोष कुमार, कौड़िहार की मंजू देवी यादव, कोरांव की इंदू शामिल हैं। बीएसए संजय कुशवाहा ने बताया कि कुल सात लोग अब भी संदेह के घेरे में हैं। यदि तीन दिन में वेरीफिकेशन पूरा नहीं कराते हैं तो कार्रवाई शुरू की जाएगी।
अनामिका प्रकरण उजागर होने के बाद समूचे प्रदेश में खलबली मची है। सभी कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालयों में नियुक्त शिक्षिकाओं और कर्मचारियों के मूल शैक्षिक अभिलेख व प्रमाण पत्रों की जांच शुरू की गई। इसके लिए सभी 242 शिक्षिकाओं व कर्मचारियों को नोटिस भेजकर मूल प्रमाण पत्र मंगवाए गए। बीएसए ने निर्देश दिया था कि 19 जून तक शिक्षिकाएं और कर्मचारी प्रमाण पत्र जमा कर दें लेकिन, अब भी सात लोग ऐसे हैं जिन्होंने मूल प्रमाण पत्र जमा नहीं किए। इसमें कस्तूरबा गांधी आवासीय बालिका विद्यालय मऊआइमा के चौकीदार राम मोहन, प्रतापपुर की सुचेता देवी, शंकरगढ़ की शफक महजबीन और लक्ष्मी सिंह, उरुवा के संतोष कुमार, कौड़िहार की मंजू देवी यादव, कोरांव की इंदू शामिल हैं। बीएसए संजय कुशवाहा ने बताया कि कुल सात लोग अब भी संदेह के घेरे में हैं। यदि तीन दिन में वेरीफिकेशन पूरा नहीं कराते हैं तो कार्रवाई शुरू की जाएगी।