यूपी की योगी सरकार प्रदेश के हर जिले में एक ही छत के नीचे सभी सरकारी विभागों के कार्यालय खोलने जा रही है। शुरूआत गोरखपुर एवं वाराणसी से करने की तैयारी है।
अगर प्रयोग सफल रहा तो इसे प्रदेश के हर जिले में लागू किया जाएगा। फिलहाल, गोरखपुर और वाराणसी में एक छत के नीचे सभी विभागों के एकीकृत कार्यालय खोलने की तैयारी शुरू कर दी गई है।सरकार की मंशा को मूर्त रूप देने के लिए सभी विभागों के विभागाध्यक्षों से एकीकृत कार्यालय के बारे में उनका अभिमत मांगा गया है। इसी अभिमत के आधार पर शासन आगे की कार्यवाही शुरू करेगा। बताया जाता है कि कई विभागाध्यक्षों इस बारे में तमाम किन्तु-परन्तुओं के साथ अपना अभिमत शासन को भेज भी दिया है। इसमें कई अभिमत ऐसे भी आए जो इस नई व्यवस्था को बेहद उपयोगी बताते हुए इसे शीघ्र लागू करने की वकालत की गई है। साथ ही कहा है कि इससे विभागों के बीच बेहतर समन्वय बनाने में मदद मिलेगी। साथ ही आम जनता को भी इसका लाभ मिलेगा।
कइयों ने सवाल भी उठाए हैं
सूत्र बताते हैं कि गोपनीय रूप से शासन को मिल रहे इन अभिमतों में कुछ विभागाध्यक्ष ने एक ही छत के नीचे सभी विभागों के कार्यालय खोले जाने की योजना पर सुरक्षा को लेकर कई सवाल खड़े किए हैं। कुछ ने शासन को लिखा है कि अगर कभी कोई आतंकी हमला हो जाए या एक ही भवन में होने के कारण पेयजल की आपूर्ति भी एक ही स्थान से होगी। ऐसे में किसी ने पानी में कोई जहरीला पदार्थ या वायरस से ग्रसित कोई द्रव्य पानी में मिला दिया तो उससे सभी विभाग प्रभावित हो जाएंगे।
सचिवालय व दिल्ली के विभिन्न भवनों की भांति लागू करने की तैयारी
सरकार राजधानी स्थित सचिवालय भवन या जवाहर भवन एवं इन्दिरा भवन अथवा दिल्ली के शास्त्री भवन, नार्थ व साउथ ब्लाक आदि की भांति जिलों में बहुखण्डीय भवन बनाकर उसमें सभी विभागों के कार्यालय खुलवाने की योजना तैयार कर चुकी है। सरकार का मानना है कि एक ही जगह सभी कार्यालय होने से आम लोगों को किसी भी कार्य के लिए बहुत अधिक भाग दौड़ नहीं करना पड़ेगा। साथ ही विभागीय अधिकारियों के बीच आपसी समन्वय भी बेहतर हो सकेगा। इसके अलावा सरकार के खर्चे भी कम हो जाएंगे।