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15,000 शिक्षकों की भर्ती में फर्जी दस्तावेजों से नौकरी पाने वाले तीन शिक्षक बर्खास्त

 फतेहपुर : फर्जी प्रमाणपत्रों के सहारे नौकरी पाने वाले तीन शिक्षकों के निर्धारित समय पर उपस्थित न होने पर बर्खास्त कर दिया गया है। सत्यापन में इनके लगाए गए शैक्षिक प्रमाण पत्र फर्जी पाए गए। बीएसए ने कोतवाली पुलिस को रिपोर्ट दर्ज करने को पत्र भी भेजा है।
बीते साल शासन ने 15,000 शिक्षकों की भर्ती निकाल कर बीटीसी प्रशिक्षुओं को प्राथमिक स्कूलों में सहायक अध्यापक की नौकरी दी थी। इन शिक्षकों के लगाए गए शैक्षिक प्रमाण पत्रों का बोर्ड और विवि से सत्यापन हुआ तो तीन शिक्षकों के शैक्षिक प्रमाण पत्र फर्जी मिले। अध्यापक प्रदीप कुमार को प्राथमिक स्कूल गोपालपुर पिलही, विनय कुमार को प्राथमिक विद्यालय झुरहापुर, सुमित कुमार को प्राथमिक विद्यालय गुरुवल में तैनाती दी गई। तीनों ने मध्य प्रदेश ओपेन स्कूल भोपाल से खुद के हाईस्कूल पास करने का प्रमाण पत्र लगाया था। सत्यापन में लिखे रोल नंबर के प्रमाणपत्र गलत पाए गए। 27 मार्च को बीएसए ने तीनों शिक्षकों को अपना पक्ष रखने के लिए 2 अप्रैल तक का समय दिया पर कोई भी उपस्थित नहीं हुआ। बीएसए विनय कुमार ¨सह ने बताया जांच में तीनों शिक्षक कूटरचित अभिलेखों के आधार पर नौकरी पाने के आरोपी थे। पक्ष रखने का समय दिया गया था वह नहीं आए। तीनों शिक्षकों को बर्खास्त करके सचिव बेसिक शिक्षा परिषद को अवगत करा दिया गया है। तीनों आरोपियों के खिलाफ फर्जी प्रमाण पत्र लगाने के तहत कोतवाली सदर को मुकदमा दर्ज करने का पत्र भेजा गया है।
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