नई दिल्ली : मोबाइल और कंप्यूटर के वीडियो गेम में उलझे बच्चों को स्कूल
में अब किताबों से जोड़ा जाएगा। इसके लिए सभी स्कूलों में पुस्तकालय
अनिवार्य रूप से खोले जाएंगे। सरकार ने समग्र शिक्षा योजना के तहत इस योजना
को मंजूरी दी है। इसके तहत प्राइमरी से 12वीं तक सभी सरकारी स्कूलों को
पुस्तकालय खोलना वैधानिक होगा।
सरकार इसके लिए सभी स्कूलों को वित्तीय मदद भी देगी। प्राइमरी स्कूलों में
मौजूदा समय में पुस्तकालय जैसी कोई व्यवस्था नहीं है। मानव संसाधन विकास
मंत्रलय ने इसे लेकर राज्यों से सरकारी और वित्त पोषित ऐसे स्कूलों का
ब्योरा भी मांगा है। योजना के तहत प्राइमरी स्कूल को पुस्तकालय के लिए हर
साल पांच हजार, आठवीं तक के स्कूल को दस हजार, दसवीं तक के स्कूल को पंद्रह
हजार और बारहवीं तक के स्कूल को बीस हजार रुपये सालाना दिए जाएंगे।
स्कूलों को यह राशि किताबों को खरीदने के लिए दी जाएगी। सरकार का मानना है
कि इससे कुछ सालों में प्रत्येक स्कूल के पास किताबों का एक अच्छा बैंक
तैयार हो जाएगा। मंत्रलय के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक स्कूलों को इस
दौरान बच्चों के लिए उपयोगी किताबें सुझाई भी जाएंगी, लेकिन वह उन्हें ही
खरीदें इसकी कोई अनिवार्यता नहीं रहेगी। स्कूली बच्चों की क्षमता और जरूरत
को देखते हुए अपनी पसंद से भी किताबें खरीद सकेंगे। फिलहाल इनमें ऐसी
किताबों को रखने पर जोर दिया गया है, जो बच्चों के लिए प्रेरक का काम करें।
Information on UPTET Exam , Results , UPTET Admit Cards , 69000 Shikshak Bharti , Counselling , Niyukti Patra for UP Teachers & other related information
Breaking News
- 2004 में शिक्षामित्रों की नियुक्तियों हेतु जारी विज्ञप्ति: इसी विज्ञप्ति के आधार पर हुआ था शिक्षामित्रों की का चयन
- ख़बरें अब तक - 72825 प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती - Today's Headlines
- वित्तविहीन शिक्षकों को मानदेय की पहली किस्त अक्टूबर में, यह होगा सहायक अध्यापक व प्रधानाचार्य का मानदेय
- समस्त AD बेसिक व BSA के CUG मोबाइल नम्बर : 72825 प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती Latest News
- Shikshamitra Appointment: 2001 में शिक्षामित्रों की नियुक्ति सहायक अध्यापकों के रिक्त पदों के सापेक्ष ही हुई थी