शिक्षामित्रों के सम्बन्ध मे मुख्यमंत्री द्वारा कोई उचित निर्णय नही लिया जाना घोर निंदनीय

माननीय मुख्यमंत्री जी की.संस्तुति पर आज 1100 प्रशिक्षु शिक्षकों के संदर्भ मे उनके मानदेय भुगतान और प्रशिक्षण पूर्ण किये अभ्यर्थीयो के सहायक अध्यापक के पद पर औपबंधिक आदेश सचिव ,बेसिक शिक्षा द्वारा जारी किया गया ।
उक्त.के क्रम मे मै ये कहना चाहता हूँ कि...लगभग महीनों मानदेय वृध्दि हेतु संघर्षरत असमायोजीत साथियों के सम्बन्ध मे मुख्यमंत्री द्वारा कोई उचित निर्णय नही लिया जाना घोर निंदनीय है ।
लखनऊ मे लाठीचार्ज से लेकर शीत काल मे भूख और आमरण अनशन से बेहाल शिक्षामित्रों का दर्द क्या उन प्रशिक्षु शिक्षकों से कमतर है ?..
इन सवालो का जवाब कौन देगा ?
आज जिस तरीके से अकस्मात सचिव को बुलाकर प्रशिक्षु शिक्षकों के लिये ये वरदान दिया गया...इससे तो भूख से तड़पते उन साथियों पर" घाव मे नमक डालने " जैसा कृत्य प्रतीत हो रहा ।...
मानदेय वृध्दि तो अब दूर की कौड़ी नज़र आ रही ।
क्योंकि चुनाव की अधिसूचना राहु केतु बनकर ग्रहण लगाने को आतुर हैं ।...धन्यवाद !
जय हिन्द ! जय शिक्षक
आशीष मिश्र
इलाहाबाद !
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