72825 प्रशिक्षु शिक्षक चयन 2011 की भर्ती में नियुक्ति पत्र न देने के सन्दर्भ में शिकायतें

सेवा में,
निदेशक,
राज्य शैक्षिक अनुसंधान एंव प्रशिक्षण परिषद

लखनऊ।
विषय : 72825 प्रशिक्षु शिक्षक चयन 2011 की भर्ती में आपके जनपद सीतापुर को सामान्य पुरुष कला में 750 पदों में 438 पद ही सामान्य पद से लॉक होने के बाद 312 पद सामान्य के बचे होने के बावजूद भी हम योग्य सीट लॉक कराये अभ्यर्थियों को जानबूझकर नियुक्ति पत्र न देने के सन्दर्भ में निम्नांकित शिकायतें हैं
१. पृथम कट्आफ में 19 जनवरी 2015 को अनारक्षित पुरुष कला में टेट लब्धॉक 133 का 1 पद 132 का 1पद 131 का 1 पद 130 के 2 पद 129 के 5 पद 128 के 9 पद 127 के 5 पद 126 के 7 पद साथ ही साथ आरक्षित पिछड़ी जाति को ओवरलेपिंग से 135 का 1पद 130 का 1 पद 129 के 5 पद 127 के 2 पद 126 के 7 पद सामान्य पद से लॉक कर दिया। इस तिथि को 31 पद सामान्य ने और 15 पद आरक्षित ने 1994 के नियम से सामान्य पद के लॉक करा लिए। 31 और 15 बराबर 42 पद सामान्य के लॉक हो गये।
2. द्वितीय कट्आफ में 125 के 13 पद 124 के 23 पद 123 के 31 पद 122 के 38 पद और 121के 60 पद लॉक हुए। सामान्य के 165 पद और लॉक हो गये। 165 में 42 जोड़कर 207 पद लॉक हो गये |
3. तृतीय कट्आफ में 120 के 86 पद 119 के 77 पद और लॉक हुए। 163 और पद लॉक हुए । इससे 370 सामान्य कला पुरूष पद लॉक हो गये।
4. चतुर्थ और बाद की कट्आफ में 118 के 12 पद 117 का 3 पद 116 का 1 पद लॉक हुआ। कुल 386 पद सामान्य पुरुष कला मे लॉक हुए। साथ ही साथ लब्धॉक 116 से 90 नंबर तक 52 पद शिक्षामित्र और विशेष आरक्षण ने अपने पदों पर सीट लॉक करा ली। महोदय, विशेष संज्ञान लीजिये 125 से 116 लब्धॉक तक के पुरुष पिछड़ा वर्ग कला शुरू की कट्आफ मे ही लो मेरिट के कारण अपने आरक्षित पद को ही लॉक करा गये। सामान्य कला पुरुष के 750 पदों में से 438 पद सामान्य के लॉक हो गये बचे 312 पदों का पता ही नही है| हम योग्य को नौकरी न देकर फिर पंचम, षष्ठम, सप्तम, अष्टम, नवम्, दशम् , एकादश कट्आफ निकालकर पद भरने की ऐसी क्या जरूरत पड़ गई। सप्तम् कट्आफ में जब 118 कट्आफ आयी थी 350 के ऊपर पद खाली थे। मात्र 16 पद ही लॉक हुए उन पदो में हम लोगों को ले लेते जब पहले से सीट लॉक थी। इतनी कट्आफ निकालने का औचित्य स्पष्ट कीजिए। कहीं ये तो नहीं आरक्षित पद भर गये तो अनारक्षित पद को आरक्षित पद में परिवर्तित करने लगे। ये कौन सा नियम है चयन समिति सीतापुर ही जानती होगी|
5. नियुक्ति पत्र बंटते ही पद लॉक हो जाता है चयन चाहे गतिमान हो या अन्नतिम या फिर कुछ और लॉक पद अपनी कैटेगरी किसी भी कीमत पर नही बदल सकता चयनित पद बदलने का
कोई कानून बना ही नहीं है| आरक्षित को सामान्य पद लेना है तो शासनादेश के नियम उसे मौका देते है | कि इस तरीके से सामान्य पद पद मिल सकता है उसकी इच्छा जल्दी करेगा तो आरक्षित पद लॉक हो जायेगा इंतजार करेगा तो सामान्य पद मिल जायेगा| किसी भी सक्षम अधिकारी, विभागाध्यक्ष या शासन को ये अधिकार संविधान से नही मिला है| कि वो चयनित कैटेगरी लॉक पद को बदल पाये उनका काम सिर्फ ये देखना है| कि किस कैटेगरी के कितने पद लॉक हो गये और जिस कैटेगरी के जितने बचे है उनका ही चयन कराया जाये | नियुक्ति पत्र बंटते समय जितने पद लॉक हो जाते है | वे फिर नही गिने जाते है |डायट पृाचार्य महोदय से अपना चयन न होने का कारण पूछने पर जवाब मिला बाकी चरणों में धीरे-धीरे तुम्हारे बचे 312 पद हमने इस तरीके से काटे कि जो अपने आरक्षित पद लॉक करा के नौकरी कर रहे हैं उनके लब्धॉक देखकर उन्हे ही दे दिए। महोदय विशेष संज्ञान लीजिए जब लब्धॉक 125 से नीचे के सारे आरक्षित अपने आरक्षित पद लॉक कराके नौकरी कर रहे हैं। डाइट प्राचार्य के मुताबिक लब्धॉक देखीे उनको तुम्हारा पद दे दिया | महोदय जब काउन्सलिंग कराके सीट लॉक है तो पद देते समय अदलाबदली कर लो जब पद लॉक हो गया तो सारे नियम कानून खत्म। इसलिए डाइट प्राचार्य जी चयन समिति अध्यक्ष आप 312 पद अनारक्षित काटकर पता नहीं किस नियम से किसको भरा हुआ दिखा रहे हैं|
*पृार्थना*
महोदय जिसने जिस तिथि को जिस कैटेगरी में अपना चयन कराया और जिस पद को लॉक कराया उसको वहीं गिनकर बचे हमारे पदों पर हम सीट लॉक कराये सामान्य का चयन तत्काल करवा दें।
धन्यवाद।
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