रामपुर। परिषदीय अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में शिक्षकों की तैनाती पर
समायोजन प्रक्रिया ने ब्रेक लगा दिया है। अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में करीब
सौ से अधिक शिक्षकों के पद रिक्त हैं। इन पर तैनाती के लिए शिक्षकों की
चयन परीक्षा से लेकर काउंसलिंग तक हो चुकी है।
लेकिन, समायोजन प्रक्रिया के
कारण इन चयनित शिक्षकों को तैनाती नहीं दी गई है। शिक्षकों के अभाव में
अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो रही है।
परिषदीय स्कूलों को सीबीएसई स्कूलों की तर्ज पर अंग्रेजी माध्यम से संचालित
कर परिषदीय स्कूलों के बच्चों को भी अंग्रेजी में माहिर करने की सरकार की
मंशा जिले में सफल नहीं हो पा रही है। शासन के आदेशों का पालन करते हुए
जिले में करीब 40 परिषदीय स्कूलों को अंग्रेजी माध्यम से संचालित करने के
लिए चयनित तो कर लिया गया लेकिन, करीब आधा शैक्षिक सत्र बीतने के बाद भी
विभाग इसमें स्वीकृत पदों के सापेक्ष शिक्षकों की तैनाती नहीं कर सका है।
इससे लगभग सभी स्कूलों में शिक्षकों के पद रिक्त पड़े हैं और बच्चों को
अंग्रेजी में माहिर करने की सरकार की मंशा पर पानी फिर रहा है। सरकार के
फरमान के बाद मार्च माह के अंत में आनन-फानन में कुछ शिक्षकों को लिखित
परीक्षा व साक्षात्कार के बाद स्कूलों में तैनाती दे दी गई। इसके बाद रिक्त
पदों को भरने के लिए अगस्त माह में परीक्षा और साक्षात्कार के बाद
काउंसलिंग हुई। शिक्षकों से स्कूलों के विकल्प भी ले लिए गए लेकिन, इसके
बाद तैनाती नहीं दी गई। जिस कारण इन अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में आधे-अधूरे
शिक्षकों के सहारे बच्चों को अंग्रेजी में पारंगत करने की कोशिश हो रही
है।
अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में शिक्षकों की तैनाती समायोजन प्रक्रिया
के कारण रोक दी गई है। क्योंकि समायोजन प्रक्रिया में कई ऐसे शिक्षक
सरप्लस की सूची में हैं जिनका चयन अंग्रेजी माध्यम स्कूलों के लिए हो गया
था। ऐसे में अब इन शिक्षकों को समायोजित किया जाएगा और अंग्रेजी माध्यम
स्कूलों में शिक्षकों की कमी बरकरार रहेगी।