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30 दिन बाद 36 शिक्षामित्रों के खिलाफ कार्रवाई के आदेश, PM की रैली में किया था हंगामा

लखनऊ. यूपी के बेसिक शिक्षा निदेशक सर्वेन्द्र विक्रम सिंह ने 23 अगस्त को वाराणसी में पीएम नरेन्द्र मोदी के प्रोग्राम में हंगामा करने पर गिरफ्तार किये गये 36 शिक्षामित्रों के खिलाफ कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
उन्होंने वाराणसी और चंदौली के बीएसए को लेटर लिखकर शिक्षामित्रों को नोटिस जारी करने और जवाब तलब करने को कहा है।
-बीएसए से ये भी कहा गया जब शिक्षामित्रों का जवाब आ जाये तो उसे जिला लेवल कमेटी के समझ प्रस्तुत करते हुए शिक्षामित्रों की संविदा समाप्त करने की कार्रवाई करें।
ये है पूरा मामला
-प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने दो दिवसीय दौरे पर 22 और 23 अगस्त को अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी पहुंचे थे।
-उन्होंने 23 अगस्त को वाराणसी में एक जनसभा को संबोधित किया था।
-सुप्रीम कोर्ट से समायोजन कैंसिल होने से नाराज प्रदेशभर के 1 लाख शिक्षामित्र पीएम के दौरे के मद्देनजर उस दिन वाराणसी में प्रदर्शन करने पहुंचे थे।
-पीएम ने 23 अगस्त को वाराणसी में जनसभा को जब संबोधित करना शुरू किया था तभी शिक्षामित्रों ने उनके खिलाफ नारेबाजी शुरू कर दी थी।
-इसके बाद सुरक्षाकर्मियों ने हंगामा कर रहे शिक्षामित्रों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।
-पीएम की जनसभा में शांतिभंग करने का मुकदमा दर्ज कर लिया गया था।
-गिरफ्तार होने के एक हफ्ते बाद शिक्षामित्रों को जमानत मिल गई और उन्हें जेल से रिहा कर दिया गया था।
बेसिक शिक्षा विभाग का पक्ष
बेसिक शिक्षा विभाग के निदेशक सर्वेन्द्र विक्रम सिंह ने बताया कि 23 अगस्त, 2017 को पीएम नरेन्द्र मोदी के वाराणसी में आयोजित जनसभा में हंगामा करने वाले शिक्षामित्रों के खिलाफ नोटिस जारी करने का निर्देश बीएसए को दिया गया है। उन्होंने बताया कि इसके साथ ही संविदा समाप्त करने को भी कहा गया है।

शिक्षामित्रों का पक्ष
यूपी आदर्श शिक्षामित्र वेलफेयर एसोसियेशन के अध्यक्ष जीतेन्द्र शाही ने कहा कि यदि सरकार ने किसी भी शिक्षामित्र के खिलाफ कोई भी कार्रवाई की तो उसके खिलाफ सड़कों पर उतरकर विरोध किया जाएगा। इसकी पूरी जिम्मेदारी शासन प्रशासन की होगी।
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