ऐसी स्थिति में पदोन्नति के लिए पात्रता रखने वाले शिक्षकों में अभी से खुशी नजर आने लगी है। 1यहां बता दें कि तमाम प्राथमिक विद्यालय जनपद में ऐसे हैं, जहां प्रधानाध्यापक पद पर सहायक अध्यापक ही इंचार्ज के रूप में कार्यरत हैं। पद उपलब्ध होने के बावजूद भी प्रधानाध्यापक पदों की पूर्ति पदोन्नति न होने के कारण ही बनी रही है। अब जब शासन ने तीन साल की सेवा पूरी करने वाले शिक्षकों को पदोन्नत कर प्रधानाध्यापक बनाने को लेकर निर्देश दिए हैं। इससे समय सीमा पूरी करने वाले शिक्षकों की पदोन्नति की राह आसान तो हुई है, लेकिन पिछले दिनों तक पदोन्नति पर विभाग की चुप्पी को लेकर परेशानी महसूस कर रहे शिक्षकों को भी इस बात से राहत मिली है कि विभाग ने शुरू कराई है।
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