प्रयागराज : परिषदीय स्कूलों में 69 हजार सहायक शिक्षक भर्ती में फर्जीवाड़ा करने वाले गिरोह के सरगना डॉ. केएल पटेल की संपत्ति भी एसटीएफ के निशाने पर आ गई है। एसटीएफ के अधिकारी विवेचना के साथ यह भी पता लगा रहे हैं कि सरगना के पास कहां-कहां और कितनी चल व अचल संपत्ति है। आर्थिक स्रोत व बैंक खातों की भी जानकारी जुटाई जा रही है, ताकि उस पर कानूनी शिकंजा कसा जा सके।
बहरिया थाना क्षेत्र के कपसा गांव निवासी डॉ. केएल पटेल ने वर्ष 2006 के आसपास सैफई मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस किया फिर उसे सरकारी नौकरी मिली। इसके बाद उसने फूलपुर में आइटीआइ कॉलेज बनवाया। फिर फार्मेसी व कई अन्य कॉलेज । गंगापार से लेकर शहर तक में उसके नाम कई जमीन और मकान है। 10 साल पहले उसके पास महज दो बीघा जमीन थी। पुलिस को जांच में भी इस तरह की जानकारी मिली थी। हिरासत में लिए जाने पर उसकी निशानदेही पर कॉलेज परिसर में जमीन खोदकर 14 लाख रुपये बरामद किए गए थे। यह पैसा सहायक शिक्षक भर्ती परीक्षा के अभ्यर्थियों से लिए जाने की बात कही गई थी। अधिकारियों का कहना है कि पूछताछ में सरगना ने बताया था कि नानी की मौत के बाद उसे ननिहाल से करीब 30 से 40 लाख रुपये मिले थे। इस आधार पर अब उसके और उसके घरवालों के नाम जो भी संपत्ति है, उसका ब्यौरा जुटाया जा रहा है। अफसरों का मानना है कि एक डॉक्टर होने के नाते वह वेतन से इतनी संपत्ति नहीं जुटा सकता है। लिहाजा सारे पहलुओं पर तफ्तीश चल रही है।
स्कूल प्रबंधक समेत अन्य पर घोषित होगा इनाम : सहायक शिक्षक भर्ती फर्जीवाड़ा के मामले में फरार चल रहे स्कूल प्रबंधक चंद्रमा यादव व दुर्गेश पटेल, संदीप समेत अन्य पर इनाम घोषित करने की भी तैयारी चल रही है। एसटीएफ की टीम इनकी गिरफ्तारी के लिए लगातार अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी कर रही है, लेकिन सफलता नहीं मिल पा रही है। ऐसे में इन सभी पर इनाम घोषित करने की तैयारी शुरू हो गई है। एसटीएफ के अधिकारियों का कहना है कि अगर जल्द गिरफ्तारी न हुई तो इनाम घोषित किया जाएगा।
बहरिया थाना क्षेत्र के कपसा गांव निवासी डॉ. केएल पटेल ने वर्ष 2006 के आसपास सैफई मेडिकल कॉलेज से एमबीबीएस किया फिर उसे सरकारी नौकरी मिली। इसके बाद उसने फूलपुर में आइटीआइ कॉलेज बनवाया। फिर फार्मेसी व कई अन्य कॉलेज । गंगापार से लेकर शहर तक में उसके नाम कई जमीन और मकान है। 10 साल पहले उसके पास महज दो बीघा जमीन थी। पुलिस को जांच में भी इस तरह की जानकारी मिली थी। हिरासत में लिए जाने पर उसकी निशानदेही पर कॉलेज परिसर में जमीन खोदकर 14 लाख रुपये बरामद किए गए थे। यह पैसा सहायक शिक्षक भर्ती परीक्षा के अभ्यर्थियों से लिए जाने की बात कही गई थी। अधिकारियों का कहना है कि पूछताछ में सरगना ने बताया था कि नानी की मौत के बाद उसे ननिहाल से करीब 30 से 40 लाख रुपये मिले थे। इस आधार पर अब उसके और उसके घरवालों के नाम जो भी संपत्ति है, उसका ब्यौरा जुटाया जा रहा है। अफसरों का मानना है कि एक डॉक्टर होने के नाते वह वेतन से इतनी संपत्ति नहीं जुटा सकता है। लिहाजा सारे पहलुओं पर तफ्तीश चल रही है।
स्कूल प्रबंधक समेत अन्य पर घोषित होगा इनाम : सहायक शिक्षक भर्ती फर्जीवाड़ा के मामले में फरार चल रहे स्कूल प्रबंधक चंद्रमा यादव व दुर्गेश पटेल, संदीप समेत अन्य पर इनाम घोषित करने की भी तैयारी चल रही है। एसटीएफ की टीम इनकी गिरफ्तारी के लिए लगातार अलग-अलग स्थानों पर छापेमारी कर रही है, लेकिन सफलता नहीं मिल पा रही है। ऐसे में इन सभी पर इनाम घोषित करने की तैयारी शुरू हो गई है। एसटीएफ के अधिकारियों का कहना है कि अगर जल्द गिरफ्तारी न हुई तो इनाम घोषित किया जाएगा।