बेसिक शिक्षा विभाग के 25 फर्जी शिक्षकों ने हजम किया सात करोड़ का वेतन, अब होगी वेतन रिकवरी
कूटरचित दस्तावेजों के सहारे परिषदीय विद्यालयों में नौकरी हासिल करने वाले फर्जी शिक्षकों के खिलाफ वेतन रिकवरी की कार्रवाई बेसिक शिक्षा विभाग ने शुरू कर दी है। अब तक 25 शिक्षकों से वेतन रिकवरी की फाइल तैयार की जा रही है।
फर्जी दस्तावेज के सहारे नौकरी हासिल कर इन शिक्षकों ने दशकों में सात करोड़ आठ लाख 29907 रुपये का वेतन भुगतान लिया है। विभागीय सूत्रों के मुताबिक खासकर जंगल कौड़िया ब्लॉक के तीन शिक्षकों पर सर्वाधिक 72-77 लाख रुपये की सर्वाधिक रिकवरी बनेगी।
वर्ष-2019 में एसटीएफ की छापेमारी के बाद से बेसिक शिक्षा विभाग को कूटरचित दस्तावेजों के सहारे नौकरी करने वाले शिक्षकों के खिलाफ अधिक मात्रा में शिकायतें मिलने का सिलसिला शुरू हुआ। जांच के बाद अब तक 51 फर्जी शिक्षकों को बर्खास्त कराने के लिए साथ ही 37 शिक्षकों पर बीएसए के तहरीर पर राजघाट थाने में मुकदमा दर्ज हुआ है।
वहीं प्राथमिक जांच में संदिग्ध मिलने पर 30 शिक्षक निलंबित किए जा चुके हैं। इसके अलावा करीब 20 से अधिक शिक्षकों के खिलाफ जांच चल रही है। नियम के मुताबिक फर्जी शिक्षक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने के बाद ही विभाग की ओर से वेतन रिकवरी की फाइल तैयार की जाती है।
पिछले वर्ष मुकदमा दर्ज होने के बाद से विभाग की ओर से फाइल मार्च में ही तैयार कर ली जानी थी लेकिन लॉकडाउन की वजह से इसमें देरी हुई। अब विभाग 25 शिक्षकों से वेतन रिकवरी की फाइल को अंतिम रूप दिया जा रहा है। जिसके बाद इसे राजस्व विभाग को भेज दिया जाएगा।
पहले चरण में 12 फर्जी शिक्षकों की भेजी जाएगी फाइल
पहले चरण में 12 फर्जी शिक्षकों से वेतन रिकवरी के रूप में 3,64,90,025 रुपये की रिकवरी की फाइल भेजी जाएगी। दूसरे चरण में 13 शिक्षकों के 3,43,39,882 रुपये की रिकवरी भेजी जाएगी।
सर्वाधिक वेतन लेने वाले शिक्षक
जंगल कौड़िया ब्लॉक पर तैनात रहे फर्जी शिक्षक जयप्रकाश मिश्रा पर 77,17,784 रुपये, रामप्रसाद पर 74,17,982 और राकेश सिंह पर 72,23,022 रुपये की सर्वाधिक रिकवरी बनती है।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी बीएन सिंह ने कहा कि फर्जी शिक्षकों से वेतन रिकवरी की प्रगति शासन स्तर से तलब की गई है। फाइल तैयार कराई जा रही है। जल्द ही इसे रिकवरी के लिए आगे भेजने के साथ ही इसकी सूचना शासन को भेजी जाएगी। बाकि बचे फर्जी शिक्षकों के वेतन रिकवरी की फाइल भी जुलाई में तैयार कराई जाएगी।
कूटरचित दस्तावेजों के सहारे परिषदीय विद्यालयों में नौकरी हासिल करने वाले फर्जी शिक्षकों के खिलाफ वेतन रिकवरी की कार्रवाई बेसिक शिक्षा विभाग ने शुरू कर दी है। अब तक 25 शिक्षकों से वेतन रिकवरी की फाइल तैयार की जा रही है।
फर्जी दस्तावेज के सहारे नौकरी हासिल कर इन शिक्षकों ने दशकों में सात करोड़ आठ लाख 29907 रुपये का वेतन भुगतान लिया है। विभागीय सूत्रों के मुताबिक खासकर जंगल कौड़िया ब्लॉक के तीन शिक्षकों पर सर्वाधिक 72-77 लाख रुपये की सर्वाधिक रिकवरी बनेगी।
वर्ष-2019 में एसटीएफ की छापेमारी के बाद से बेसिक शिक्षा विभाग को कूटरचित दस्तावेजों के सहारे नौकरी करने वाले शिक्षकों के खिलाफ अधिक मात्रा में शिकायतें मिलने का सिलसिला शुरू हुआ। जांच के बाद अब तक 51 फर्जी शिक्षकों को बर्खास्त कराने के लिए साथ ही 37 शिक्षकों पर बीएसए के तहरीर पर राजघाट थाने में मुकदमा दर्ज हुआ है।
वहीं प्राथमिक जांच में संदिग्ध मिलने पर 30 शिक्षक निलंबित किए जा चुके हैं। इसके अलावा करीब 20 से अधिक शिक्षकों के खिलाफ जांच चल रही है। नियम के मुताबिक फर्जी शिक्षक के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने के बाद ही विभाग की ओर से वेतन रिकवरी की फाइल तैयार की जाती है।
पिछले वर्ष मुकदमा दर्ज होने के बाद से विभाग की ओर से फाइल मार्च में ही तैयार कर ली जानी थी लेकिन लॉकडाउन की वजह से इसमें देरी हुई। अब विभाग 25 शिक्षकों से वेतन रिकवरी की फाइल को अंतिम रूप दिया जा रहा है। जिसके बाद इसे राजस्व विभाग को भेज दिया जाएगा।
पहले चरण में 12 फर्जी शिक्षकों की भेजी जाएगी फाइल
पहले चरण में 12 फर्जी शिक्षकों से वेतन रिकवरी के रूप में 3,64,90,025 रुपये की रिकवरी की फाइल भेजी जाएगी। दूसरे चरण में 13 शिक्षकों के 3,43,39,882 रुपये की रिकवरी भेजी जाएगी।
सर्वाधिक वेतन लेने वाले शिक्षक
जंगल कौड़िया ब्लॉक पर तैनात रहे फर्जी शिक्षक जयप्रकाश मिश्रा पर 77,17,784 रुपये, रामप्रसाद पर 74,17,982 और राकेश सिंह पर 72,23,022 रुपये की सर्वाधिक रिकवरी बनती है।
जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी बीएन सिंह ने कहा कि फर्जी शिक्षकों से वेतन रिकवरी की प्रगति शासन स्तर से तलब की गई है। फाइल तैयार कराई जा रही है। जल्द ही इसे रिकवरी के लिए आगे भेजने के साथ ही इसकी सूचना शासन को भेजी जाएगी। बाकि बचे फर्जी शिक्षकों के वेतन रिकवरी की फाइल भी जुलाई में तैयार कराई जाएगी।