हाईकोर्ट के निर्देश पर टिप्पणी से बचे बेसिक शिक्षा मंत्री चौधरी
जागरण संवाददाता, प्रतापगढ़ : प्रदेश के बेसिक शिक्षा मंत्री रामगो¨वद चौधरी ने रविवार को यहां कहा कि उनकी सरकार मातृभाषा हंिदूी को सम्मानजनक स्थान दिलाने के लिए लगातार प्रयासरत रही है। सभी प्राथमिक विद्यालयों में अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई कराने का कोई इरादा नहीं है। चौधरी यहां लोनिवि डाक बंगले में पत्रकारों से मुखातिब थे। उनसे सवाल किया गया था कि क्या मॉडल स्कूलों की तर्ज पर सभी में अंग्रेजी माध्यम लागू करने की योजना है? उन्होंने कहा कि अभी हर जिले में दो मॉडल स्कूल विकसित किए जा रहे हैं। इनमें अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई कराई जा रही है। इसके अनुभव को देखने के बाद आगे कोई निर्णय लिया जाएगा।
हाल ही में नेताओं व अफसरों के बच्चों को प्राथमिक विद्यालयों में अनिवार्य रूप से पढ़ाने संबंधी हाईकोर्ट के निर्देश पर उन्होंने कहा कि समाजवादियों का नारा रहा है कि सबकी शिक्षा हो समान, चाहे हो निर्धन या धनवान। बेसिक शिक्षा मंत्री का कहना था कि उन्होंने फैसला अभी पढ़ा नहीं है। इस मामले में पीआइएल दाखिल करने वाले सुलतानपुर के शिक्षक शिवकुमार पाठक की बर्खास्तगी संबंधी सवाल पर उन्होंने कहा कि प्रशिक्षण में लापरवाही बरतने पर नियमानुसार कार्रवाई की गई है। बोले, बर्खास्तगी और न्यायालय का फैसला दोनों अलग बातें हैं। कनवर्जन कास्ट कम होने के बावजूद दूध वितरण संबंधी फैसले पर बेसिक शिक्षा मंत्री ने कहा कि यह व्यवस्था करना उनका काम है। इसकी योजना बनाई जाएगी। शिक्षामित्रों के समायोजन पर मंत्री ने कहा कि शीघ्र ही बचे हुए शिक्षामित्रों को भी समायोजित किया जाएगा। इससे पहले जीआइसी में रसोईयों के सम्मेलन में बेसिक शिक्षा मंत्री ने कोई भी घोषणा नहीं की।
अलबत्ता इतना जरूर कहा कि नवीनीकरण से उन्हें छूट दी जा सकती है। साथ ही रसोइयों की तमाम समस्याओं के लिए केन्द्र सरकार को दोषी ठहराया। कहा कि कोई भी बदलाव केंद्र सरकार ही कर सकती है।
जागरण संवाददाता, प्रतापगढ़ : प्रदेश के बेसिक शिक्षा मंत्री रामगो¨वद चौधरी ने रविवार को यहां कहा कि उनकी सरकार मातृभाषा हंिदूी को सम्मानजनक स्थान दिलाने के लिए लगातार प्रयासरत रही है। सभी प्राथमिक विद्यालयों में अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई कराने का कोई इरादा नहीं है। चौधरी यहां लोनिवि डाक बंगले में पत्रकारों से मुखातिब थे। उनसे सवाल किया गया था कि क्या मॉडल स्कूलों की तर्ज पर सभी में अंग्रेजी माध्यम लागू करने की योजना है? उन्होंने कहा कि अभी हर जिले में दो मॉडल स्कूल विकसित किए जा रहे हैं। इनमें अंग्रेजी माध्यम से पढ़ाई कराई जा रही है। इसके अनुभव को देखने के बाद आगे कोई निर्णय लिया जाएगा।
हाल ही में नेताओं व अफसरों के बच्चों को प्राथमिक विद्यालयों में अनिवार्य रूप से पढ़ाने संबंधी हाईकोर्ट के निर्देश पर उन्होंने कहा कि समाजवादियों का नारा रहा है कि सबकी शिक्षा हो समान, चाहे हो निर्धन या धनवान। बेसिक शिक्षा मंत्री का कहना था कि उन्होंने फैसला अभी पढ़ा नहीं है। इस मामले में पीआइएल दाखिल करने वाले सुलतानपुर के शिक्षक शिवकुमार पाठक की बर्खास्तगी संबंधी सवाल पर उन्होंने कहा कि प्रशिक्षण में लापरवाही बरतने पर नियमानुसार कार्रवाई की गई है। बोले, बर्खास्तगी और न्यायालय का फैसला दोनों अलग बातें हैं। कनवर्जन कास्ट कम होने के बावजूद दूध वितरण संबंधी फैसले पर बेसिक शिक्षा मंत्री ने कहा कि यह व्यवस्था करना उनका काम है। इसकी योजना बनाई जाएगी। शिक्षामित्रों के समायोजन पर मंत्री ने कहा कि शीघ्र ही बचे हुए शिक्षामित्रों को भी समायोजित किया जाएगा। इससे पहले जीआइसी में रसोईयों के सम्मेलन में बेसिक शिक्षा मंत्री ने कोई भी घोषणा नहीं की।
अलबत्ता इतना जरूर कहा कि नवीनीकरण से उन्हें छूट दी जा सकती है। साथ ही रसोइयों की तमाम समस्याओं के लिए केन्द्र सरकार को दोषी ठहराया। कहा कि कोई भी बदलाव केंद्र सरकार ही कर सकती है।
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