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टीईटी परिणाम पर निर्भर शिक्षक भर्ती परीक्षा

अमर उजाला ब्यूरो, इलाहाबाद शिक्षक पात्रता परीक्षा (टीईटी) का मूल्यांकन अब अंतिम चरण में है लेकिन परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय परिणाम 30 नवंबर तक घोषित कर सकेगा, इसे लेकर असमंजस की स्थिति बन गई है।
टीईटी के परिणाम पर ही शिक्षक भर्ती परीक्षा पर फैसला होगा और परिणाम में देरी से शिक्षक भर्ती परीक्षा के लिए आवेदन की प्रक्रिया शुरू होने में भी विलंब होगा, जबकि लाखों युवाओं को इस भर्ती परीक्षा का इंतजार का इंतजार है,  जिसमें टीईटी देने वाले शिक्षामित्र भी शामिल हैं।
टीईटी में प्रदेशभर से 9.67 लाख से अधिक अभ्यर्थी शामिल हुए। 15 अक्तूबर को परीक्षा होने के बाद परीक्षा नियामक प्राधिकारी कार्यालय ने कॉपियों का मूल्यांकन शुरू कराया। इसके साथ उत्तरकुंजी जारी कर अभ्यर्थियों ने आपत्तियां मांगी। अभ्यर्थियों ने 10 प्रश्नों पर आपत्ति की। प्राधिकारी कार्यालय ने इस पर विशेषज्ञों से राय लेकर सिर्फ दो प्रश्नों को गलत मानते हुए उन पर हर अभ्यर्थी को समान अंक देने का निर्णय लिया गया लेकिन अभ्यर्थी इससे असंतुष्ट नहीं और फिर से आपत्तियां दर्ज कराई। आठ प्रश्नों को लेकर अभ्यर्थियों ने हाईकोर्ट में याचिका भी दाखिल कर दी। इस बीच दोबारा आईं आपत्तियों का विषय विशेषज्ञों से निस्तारण कराने के बाद प्राधिकारी कार्यालय ने दो और प्रश्नों में गड़बड़ी मानते हुए सभी अभ्यर्थियों को उन पर समान अंक देने का निर्णय लिया लेकिन अब मामला हाईकोर्ट में है।

उधर, प्राधिकारी कार्यालय टीईटी की कॉपियों के मूल्यांकन का काम पूरा कराने के साथ शिक्षक भर्ती परीक्षा की तैयारी में भी जुट गया है, क्योंकि प्रदेश सरकार ने टीईटी का परिणाम घोषित होने के बाद दिसंबर के दूसरे सप्ताह तक शिक्षक भर्ती परीक्षा प्रक्रिया शुरू करने की योजना बनाई है लेकिन यह तभी होगा, जब हाईकोर्ट से टीईटी पर अंतिम फैसला जाएगा। अब मामला हाईकोर्ट में है सो प्राधिकारी कार्यालय के अफसर भी इस बारे में कुछ बोलने से बच रहे हैं।
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