उन्नाव. शिक्षामित्रों का आक्रोश थमता नहीं दिख रहा
है। भाजपा सरकार की ढुलमुल नीति के कारण दिन प्रतिदिन शिक्षामित्र भाजपा के
खिलाफ आक्रामक होते जा रहे हैं। वहीं दूसरी तरफ शिक्षामित्र संगठन की तरफ
से भाजपा नेताओं व सांसदों को ज्ञापन देने का सिलसिला भी जारी है।
इस आशा
में कि कहीं कोई खुशखबरी सामने आ जाए। इसी क्रम में उत्तर प्रदेश प्राथमिक
शिक्षामित्र संघ की तरफ से एक कार्यक्रम में शामिल होने आए प्रदेश अध्यक्ष
को ज्ञापन दिया गया। जिसमें उन्होंने कहा है कि 1999 से कार्यरत
शिक्षामित्रों को उनके अनुभव को देखते हुए नियमों में छूट प्रदान की जाए।
शिक्षामित्रों की मांग पर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने सारा सकारात्मक रुख
दिखाया है और कहा है कि शीघ्र ही शिक्षामित्रों के संबंध में सरकार निर्णय
लेने जा रही है। जिससे भविष्य में उनके सामने किसी प्रकार की समस्या ना आए।
इस मौके पर शिक्षामित्र संगठन से जुड़े तमाम शिक्षामित्र मौजूद थे।
172000 शिक्षामित्रों पर आए संकट का समाधान करें सरकार
उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षामित्र संघ एक बार फिर अपनी मांगों को लेकर भाजपा प्रदेश अध्यक्ष डॉक्टर महेंद्र नाथ
पांडे से मिला। इस अवसर पर शिक्षामित्र संघ की तरफ से एक ज्ञापन प्रदेश
अध्यक्ष को दिया गया। अपने ज्ञापन में उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षा मित्र
संघ के जिला अध्यक्ष सुधाकर तिवारी ने मांग की है कि उत्तर प्रदेश में
172000 शिक्षामित्रों व उनके परिवार के भविष्य के लिए सरकार कुछ ठोस कदम
उठाए और मजबूत पैरवी करें। जिससे कि शिक्षामित्रों के ऊपर आए संकट को हटाया
जा सके।
अपने ज्ञापन में उन्होंने कहा है कि आज देश का शिक्षामित्र और उसका
परिवार विषम संकट की परिस्थितियों से गुजर रहा है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश
आने के बाद लगभग 200 शिक्षामित्रों ने आत्महत्या कर लिया है। वहीं तमाम
शिक्षामित्र अवसाद की स्थिति में है। सुधाकर तिवारी ने शीतकालीन सत्र में
उनकी मांग और आवाज़ सदन में उठाए जाने का अनुरोध किया है। ज्ञापन में
उन्होंने कहा है कि शिक्षामित्र 1999 से विभिन्न विद्यालयों में कार्यरत
है। इसलिए एमएचआरडी की संस्था एनसीटीई के पैरा 4 में संशोधन कर टीईटी से
छूट दिलाने दिलाया जाए।
12 महीने वेतन और 62 साल की सर्विस की जाए
शिक्षामित्र स्नातक तथा दो वर्षीय BTC ट्रेंड है। इसलिए टेट पास
शिक्षामित्रों को सीधे समायोजित तथा नान टेट को आगामी 9 अगस्त 2017 के
आदेशानुसार चार साल का समय देखकर अध्यापक बनाया जाए। अपनी स्थाई व्यवस्था
की भी मांग उत्तर प्रदेश प्राथमिक शिक्षामित्र संघ ने की है। शिक्षामित्र
संघ ने ट्रेंड वेतनमान तथा 62 साल तक 12 महीने की स्थाई व्यवस्था का समाधान
किए जाने की मांग की है। शिक्षामित्रों ने अपने ज्ञापन में कहा है कि विगत
17 वर्षों से शिक्षण कार्य
के दौरान शिक्षामित्र पठन पाठन के साथ शासन द्वारा संचालित योजनाओं में भी
बढ़ चढ़कर हिस्सा लिया और योगदान दिया है। ज्ञापन देने वालों में ज्ञान,
कुलदीप, रामेंद्र, संजोली पाठक, राठौर, शंकर यादव सहित सैकड़ों की संख्या
में प्राथमिक शिक्षा मित्र संघ से जुड़े लोग मौजूद थे।