Monday 22 February 2021

सीएम का संदेश, अफसर न सुनें तो डायल करें 1076

 लखनऊ: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लगातार निर्देश के बाद भी जन समस्याओं के निस्तारण को गंभीरता से न लेने वाले अफसर अब कार्रवाई की जद में आ सकते हैं। मुख्यमंत्री हेल्पलाइन चल तो पहले से रही है, लेकिन अब इसे और सक्रिय कर दिया गया है। लापरवाह अधिकारियों की रिपोर्ट सीधे जनता से लेने के लिए प्रदेश भर के थाने, तहसील और अन्य सरकारी कार्यालयों में बोर्ड लगवाया जा रहा है, जिस पर सीएम की ओर संदेश है- ‘यदि इस कार्यालय में आपकी समस्याओं का समुचित समाधान नहीं हो पा रहा है तो आप सीधे मुख्यमंत्री हेल्पलाइन 1076 पर कॉल करें। मेरा कार्यालय आपकी सहायता करेगा’


राजधानी के हजरतगंज थाने में मुख्यमंत्री हेल्पलाइन से संबंधित यह बोर्ड लगने के बाद तेजी से चर्चा शुरू हो गई है। सरकारी प्रवक्ता ने बताया कि मुख्यमंत्री की मंशा यही है कि थाने और सरकारी कार्यालयों में जाने पर आमजन को भटकना न पड़े। उनकी समस्याओं का तुरंत निस्तारण हो। पिछले दिनों लोकभवन में आयोजित एक बैठक में योगी निर्देश भी दे चुके हैं कि जिन थानों, तहसील और कार्यालयों से ज्यादा शिकायतें आएं, वहां के संबंधित अधिकारियों पर जिम्मेदारी निर्धारित की जाए। ज्यादा शिकायत वाले अधिकारियों पर कार्रवाई का भी सख्त संदेश दिया है। वहीं, मुख्यमंत्री हेल्पलाइन से भी जन शिकायतों के निस्तारण की निगरानी सख्त कर दी गई है। अधिक से अधिक आमजन को सीएम हेल्पलाइन के बारे में जानकारी हो सके और वे इसकी मदद ले सकें, इसी उद्देश्य से सभी जिलों के थाने, तहसील और सरकारी कार्यालयों में मुख्यमंत्री के संदेश वाला यह बोर्ड लगवाया जा रहा है। अब सीएम हेल्पलाइन पर शिकायत आते ही शासन स्तर से प्रकरण में दखल देकर समाधान कराया जाएगा। इसी के आधार पर जिलों में तैनात अधिकारियों के कामकाज का आकलन भी किया जाएगा।


’>>थाना, तहसील व सरकारी कार्यालयों के बाहर बोर्ड लगवा रही सरकार

’>>जन समस्याओं के निस्तारण के लिए और सक्रिय हुई मुख्यमंत्री हेल्पलाइन

फर्जी शिकायत करने वाले पर भी होगी कार्रवाई

प्रवक्ता ने बताया कि थाना और तहसील स्तर पर जनता की शिकायत का निस्तारण कराने के लिए संबंधित जिलाधिकारी, पुलिस कप्तान और थानेदार को जवाबदेह बनाया जाएगा। सीएम हेल्पलाइन पर फर्जी शिकायत दर्ज कराने वाले व्यक्ति के खिलाफ कार्रवाई भी की जाएगी। इसके अलावा थाना व तहसील स्तर पर निस्तारित हुई जनता की समस्याओं की रेटिंग की जाएगी, ताकि पता चल सके कि किस जिले में जनता की समस्याओं के निस्तारण में तेजी दिखाई जा रही है।