फिरोजाबाद जनपद के एका ब्लॉक में तैनात शिक्षक दूसरे की जगह नौकरी कर रहा है। विशेष जांच दल (एसआईटी) और एसटीएफ का पत्र आने से पूर्व ही आरोपी शिक्षक त्यागपत्र स्वीकृत कराने के लिए बीएसए कार्यालय के पिछले 15 दिन से चक्कर काट रहा है। बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) ने मामले की सुनवाई के लिए कमेटी का गठन कर दिया है। सुनवाई के लिए आरोपी शिक्षक को बुलाया गया है।
हाथरस जिले का शिक्षक असली मिला
जनपद के बेसिक शिक्षा विभाग को एसटीएफ ने पत्र भेजा है कि मदनपुर ब्लॉक के प्राइमरी स्कूल परियर में तैनात शिक्षक देवेंद्र पुत्र चंद्रपाल किसी दूसरे के स्थान पर नौकरी कर रहा है। उसके अभिलेख हाथरस जिले के कंपोजिट विद्यालय दरियापुर विकास खंड सासनी से मिलते हैं। एसटीएफ ने मामले की जांच की तो हाथरस जिले का शिक्षक असली मिला और फिरोजाबाद में तैनात शिक्षक फर्जी। एसटीएफ ने आरोपी शिक्षक पर कार्रवाई के लिए लिखा है। बीएसए ने शिक्षक का पक्ष जानने के लिए तीन सदस्यीय कमेटी गठित की है। इसमें बीएसए, खंड शिक्षाधिकारी फिरोजाबाद और लेखाधिकारी बेसिक को रखा गया है। शिक्षक करीब 15 साल की नौकरी पूरी कर चुका है।
एसआईटी से पत्र आया है। इसमें प्राइमरी नगला परियर में शिक्षक देवेंद्र द्वारा दूसरे शिक्षक के स्थान पर नौकरी करने की जानकारी दी गई है। हमने सुनवाई के लिए कमेटी गठित की है। हम स्वयं भी शिक्षक की सुनवाई करेंगे। - अंजली अग्रवाल, बीएसए
15 वर्ष पूर्व दिया आरोपी शिक्षक ने त्याग पत्र
मामला फंसता देखकर आरोपी शिक्षक देवेंद्र अपना त्यागपत्र 15 दिन पूर्व ही दे चुका है। त्यागपत्र स्वीकृत कराने के लिए शिक्षक देवेंद्र ने बीएसए कार्यालय के चक्कर लगाए। बीएसए से मुलाकात कर शिक्षक ने त्यागपत्र को जल्द ही स्वीकृत कराने की मांग की। बीएसए ने त्याग पत्र देने के संबंध में जानकारी मांगी। इसमें आरोपी शिक्षक ने स्वास्थ्य गड़बड़ होना बताया। यहां तक कि शिक्षक हाथ और पेट पर लाल पट्टी बांधकर भी आया था। बीएसए को त्यागपत्र को लेकर शक भी हुआ। हालांकि त्यागपत्र अभी तक स्वीकृत नहीं हुआ है। एसआईटी का पत्र आने के बाद बीएसए को मामले की जानकारी हो सकी।