शिक्षामित्र महकमे में जोश, अगली सुनवाई फरवरी में : 72825 प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती Latest News

विसं, नई दिल्ली : शिक्षामित्रों का सहायक शिक्षकों के पद पर समायोजन रद करने के इलाहाबाद हाई कोर्ट के फैसले पर सुप्रीम कोर्ट ने अंतरिम रोक लगा दी है। जस्टिस दीपक मिश्रा और जस्टिस उदय यू. ललित की बेंच ने कहा है कि मामले के हर पहलू पर विचार करना जरूरी है।

कोर्ट ने यूपी के एडवोकेट जनरल से पूछा है कि अगर हाई कोर्ट के फैसले को सुप्रीम कोर्ट सही करार देता है तो सरकार शिक्षामित्रों पर क्या निर्णय करेगी/ TET और BTC पास अभ्यर्थियों से पूछा गया है कि अगर शिक्षामित्रों का समायोजन हो जाता है तो उनकी नियुक्ति कैसे होगी/

हाई कोर्ट के फैसले के खिलाफ यूपी सरकार समेत 32 लोग सुप्रीम कोर्ट पहुंचे हैं। सोमवार को यूपी सरकार की ओर से एडवोकेट जनरल विजय बहादुर सिंह ने कहा कि 1.72 लाख नियुक्तियां रद होने के बाद करीब 40 अध्यापकों (शिक्षामित्रों) ने आत्महत्या कर ली है। एनसीटीई की गाइडलाइंस के मुताबिक शिक्षामित्रों को बिना टीईटी के ट्रेनिंग देकर सहायक शिक्षक बनाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि हाई कोर्ट ने बेसिक एजुकेशन और आरटीई के प्रावधानों को नजरअंदाज किया है।

शिक्षामित्रों की तरफ से पी चिदंबरम, टीईटी पास अभ्यर्थियों की तरफ से अभिषेक मनु सिंघवी ने पक्ष रखा। सभी को सुनने के बाद कोर्ट ने अगली सुनवाई 24 से 26 फरवरी के बीच करने की बात कही। हाई कोर्ट के फैसले पर स्टे के बाद शिक्षामित्र संघ के गाजी इमाम आला, दूरस्थ बीटीसी शिक्षक संघ की दीपाली निगम और प्राथमिक शिक्षामित्र वेलफेयर असो. के जितेंद्र शाही ने सुप्रीम कोर्ट और यूपी सरकार का आभार जताया है।



फैसले का असर

  • शिक्षक पद पर नियुक्ति रद करने पर स्टे
  • शिक्षामित्रों को SC से बड़ी राहत


  • 72 हजार प्रशिक्षु शिक्षकों की भर्ती का मामला
  • सुप्रीम कोर्ट ने दिया 1100 अभ्यर्थियों की नियुक्ति का आदेश

केंद्र सरकार

शिक्षामित्रों का मुद‌्दा एनसीटीई के हाई कोर्ट में एफिडेविट के कारण फंसा था। शिक्षामित्र एनसीटीई को ही सबसे बड़ी रुकावट मान रहे थे। केंद्र को भी शिक्षामित्रों के तात्कालिक गुस्से से निजात मिल गई। टीईटी से छूट देनेेे सहित कई मानक शिथिल करने पर फैसले के लिए वक्त मिला। आगे वह कोर्ट के रुख और परिस्थितियों के अनुसार निर्णय ले सकेगी।


यूपी सरकार

हाई कोर्ट के फैसले से सबसे ज्यादा किरकिरी यूपी सरकार की हुई थी। अब सरकार, सुप्रीम कोर्ट का फैसला आने तक वेतन देगी और श्रेय लेगी। वेतन देने में कोई दिक्कत नहीं है क्योंकि सर्व शिक्षा अभियान के तहत केंद्र से बजट पहले ही मिल चुका है। अंतिम फैसले से पहले विधानसभा चुनाव आ गए तो भी नुकसान नहीं होगा। फैसला शिक्षामित्रों के पक्ष में गया, तब तो वाहवाही तय है।


शिक्षामित्र

शिक्षामित्रों का वेतन रुक गया था। अब उन 1.37 लाख शिक्षामित्रों को वेतन मिलने लगेगा, जिन्हें नियुक्ति पत्र मिल चुके थे। बकाया वेतन का एरियर भी मिलेगा। शिक्षामित्रों को टीईटी में छूट के लिए पैरवी का समय मिला। बाकी 36 हजार शिक्षामित्रों को भी नियुक्ति पत्र मिलने की उम्मीद बनी रहेगी।

  • लाख शिक्षामित्रों को नियुक्ति पत्र मिल चुके हैं।
  • लाख शिक्षामित्रों को शिक्षक बनाने की सरकार दे चुकी है मंजूरी।
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