ब्यूरो/अमर उजाला, देहरादूनmशिक्षा विभाग में अमान्य प्रमाण-पत्रों से नौकरी पाने वाले शिक्षकों की पोल
एसआईटी जांच में एक के बाद खुलती जा रही है।
अब सहारनपुर, उत्तर प्रदेश के
प्रधानाध्यापक की डिग्री पर उत्तराखंड के ऊधमसिंह नगर में सहायक अध्यापक
की नौकरी पाने का मामला सामने आया है। हैरान करने वाली बात यह है कि
हाईस्कूल से लेकर बीएड तक की डिग्री में क्रमांक बदलकर जालसाजी की गई है।
एसआईटी ने जांच के बाद शिक्षा विभाग से मामले में आरोपी शिक्षक के खिलाफ
मुकदमा दर्ज कराने की सिफारिश की है। इससे पहले रामनगर में भी एक शिक्षक का
ऐसा ही खेल उजागर हो चुका है।
अमान्य डिग्री से नियुक्तियों की एसआईटी
जांच में नए-नए खेल सामने आ रहे हैं। ताजा मामला ऊधमसिंह नगर के टीला
(जसपुर) के राजकीय प्राथमिक विद्यालय के सहायक अध्यापक बिजेंद्र कुमार का
है, जो 2014 में भर्ती हुए थे। शिक्षा विभाग ने जांच के लिए बिजेंद्र की
हाईस्कूल, इंटरमीडिएट, बीएससी और बीएड की प्रमाणित डिग्री उपलब्ध कराई थी।
उन्होंने 1994 में केएलएलजीएम इंटर कॉलेज नुकुड़, सहारनपुर से हाईस्कूल और
1996 में हिंदू राष्ट्रीय इंटर कॉलेज गंगोह, सहारनपुर से 12वीं करना बताया।
एसआईटी ने कॉलेज जाकर पड़ताल की तो पता चला कि इस वर्ष यह क्रमांक था ही
नहीं।
इसी बीच पता चला कि यहां से हाईस्कूल-इंटर करने वाले बिजेंद्र तो
प्रधानाध्यापक हैं और जैनपुर नुकुड़ में रहते हैं। एसआईटी उनसे मिलकर उनकी
डिग्री देखी, जो जसपुर के सहायक अध्यापक बिजेंद्र की हूबहू कॉपी थी।
क्रमांक नंबर छोड़कर नाम, पिता का नाम, माता का नाम, अंक सब समान थे। ऐसा
ही बीएससी और बीएड की डिग्री में भी था। प्रधान और आसपास के लोगों से पता
चला कि बिजेंद्र का परिवार वर्षों से यहां रहता है। प्रधानाध्यापक बिजेंद्र
यह फर्जीवाड़ा सुनकर दंग रह गए। सहायक अध्यापक बिजेंद्र ने लक्सर के
लक्सरी गांव से मूल निवास प्रमाण-पत्र बनवाया था। वह भी जांच में फर्जी
पाया गया।
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राजकीय प्राथमिक विद्यालय, टीला (जसपुर) के सहायक
अध्यापक बिजेंद्र ने यूपी के नुकुड़ निवासी प्रधानाध्यापक की डिग्री में
छेड़छाड़ कर उत्तराखंड में नौकरी पाई थी। क्रमांक नंबर छोड़कर डिग्रियों
में समानता है। बिजेंद्र का मूल निवास प्रमाण-पत्र भी जांच में फर्जी साबित
हुआ है। कई बार कहने के बावजूद सहायक अध्यापक बिजेंद्र ने अपना पक्ष नहीं
रखा है। शिक्षा विभाग को आरोपी बिजेंद्र के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराने की
सिफारिश की गई है।
-श्वेता चौबे, एसआईटी प्रभारी और अपर पुलिस अधीक्षक सीबीसीआईडी
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