शिक्षकों द्वारा तैयार 62000 ई-कंटेंट से समृद्ध हुआ पोर्टल, विद्यार्थियों को सुविधा

 वाराणसी : कोविड-19 के प्रकोप के चलते इस बार उच्च शिक्षा संस्थानों में अब तक दाखिला पूर्ण नहीं हो सका है। इसके चलते स्नातक व स्नातकोत्तर की आनलाइन क्लास भी बाधित चल रही है। वहीं, राज्य

विश्वविद्यालयों के अध्यापक भी इधर बीच ई-कंटेंट को लेकर उदासीन हो गए थे। दो माह पहले शासन के ई-पोर्टल पर तीस हजार ई-कंटेंट अपलोड किए गए थे। इस पर राज्यपाल/कुलाधिपति आनंदीबेन पटेल के कड़ी नाराजगी भी जताई थी। उन्होंने सभी राज्य विश्वविद्यालयों को ई-कंटेंट बढ़ाने का निर्देश दिया था। सख्त निर्देश के बाद पोर्टल पर ई-कंटेंट की संख्या अचानक बढ़ गई है। वर्तमान में पोर्टल पर 62000 ई-कंटेंट अपलोड हो चुके हैं।



इसमें महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के शिक्षकों द्वारा तैयार 6600 पाठ्य सामग्री भी शामिल है। पोर्टल पर ई-कंटेंट अपलोड करने के मामले में काशी विद्यापीठ सूबे में तीसरे नंबर पर है। पहले नंबर पर आगरा व दूसरे नंबर पर लखनऊ है। इसके अलावा संपूर्णानंद संस्कृत विश्वविद्यालय, वीर बहादुर सिंह पूर्वाचल विश्वविद्यालय (जौनपुर), जननायक चंद्रशेखर विश्वविद्यालय (बलिया) सहित सूबे के अन्य राज्य विश्वविद्यालयों व महाविद्यालयों के शिक्षकों द्वारा ई-कंटेंट के रूप में पाठ्य सामग्री शामिल है। इस प्रकार ई-लाइब्रेरी में अब हंिदूी और अंग्रेजी में हजारों टेक्स्ट, आडियो-वीडियो फार्म में शिक्षण सामग्री उपलब्ध है।

ऐसे में अब घर बैठे स्नातक व स्नातकोत्तर के विद्यार्थियों को पढ़ने के लिए ई-पोर्टल नामक विशाल ई-प्लेटफार्म की सुविधा मौजूद है। किसी भी विश्वविद्यालय व महाविद्यालय के छात्र अब सूबे के सर्वश्रेष्ठ शिक्षक के व्याख्यान, नोट्स का उपयोग आसानी से कर सकते हैं।

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